पीएनबी घोटाले के आरोपी मेहुल चोकसी और नेशनल हेराल्ड मामले को लेकर बीजेपी और विपक्षी पार्टी कांग्रेस के बीच सियासी घमासान छिड़ गया है. कांग्रेस ने मेहुल चोकसी के मामले को लेकर मोदी सरकार पर जोरदार हमला बोला है, तो दूसरी ओर बीजेपी ने नेशनल हेराल्ड मामले को लेकर कांग्रेस पर निशाना साधा है.
मेहुल चोकसी का वीडियो सामने आने के बाद कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, 'संसद के पटल पर दिए गए जवाब और साक्ष्यों से साफ हो जाएगा कि सात मई 2015 से एक मार्च 2018 तक पीएमओ ने नीरव मोदी और मेहुल चोकसी के खिलाफ धोखाधड़ी की जानकारी होते हुए भी कार्रवाई नहीं की, ताकि वे देश छोड़कर भाग जाएं. जब रक्षक भक्षक बन जाए, जब सरकार भगोड़ों का संरक्षण करे, तो फिर देश और देश के खजाने की रक्षा कौन करेगा?'
PMO has admitted that first report of ‘action’ against Nirav Modi/Mehul Choksi was given to PMO by Fin Dept on 1.3.2018.But Nirav Modi had escaped already on 1.1.2018 & Mehul Choksi escaped on 4.1.2018
Complicity of Modiji in escape of Nirav Modi/Mehul Choksi is thus writ large pic.twitter.com/oaEf0nFBxU
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) September 11, 2018
मोदी सरकार पर वार करते हुए कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि सात मई 2015 को पहली बार वैभव खुरानिया ने पीएमओ को पूरे मामले की जानकारी तथ्यों के साथ दी. इसकी जानकारी सीरियस फ्रॉड इनवेस्टिगेशन ऑफिस (SFIO) को भी दी गई. 26 मई 2015 को पीएमओ इस शिकायत की पावती देता है. इससे साबित हो गया कि सात मई 2015 को नीरव मोदी की धोखाधड़ी की जानकारी पीएमओ और अन्य एजेंसियों को मिल गई थी. 26 जुलाई 2014 को एक और व्यक्ति हरि प्रसाद सीधे मोदी से शिकायत करते हैं कि नीरव मोदी और मेहुल चोकसी बहुत बड़े फ्राड हैं और देश छोड़कर भाग जाने वाले हैं.
सुरजेवाला ने कहा कि एक मार्च 2018 को पीएमओ कहता है कि अब कार्रवाई करो, क्योंकि एक और चार जनवरी 2018 को नीरव मोदी और मेहुल चोकसी भाग चुके थे. इस मामले में प्रधानमंत्री कार्यालय, ईडी और SFIO की संलिप्तता जाहिर है. तीन साल तक मोदी सरकार ने नीरव मोदी और मेहुल चोकसी पर कोई कार्रवाई नहीं की. इसके लिए सीधे-सीधे प्रधानमंत्री मोदी जिम्मेदार हैं.
उन्होंने कहा कि जब मेहुल चोकसी भागे तो मई और जून 2017 में मेहुल चोकसी की एंटीगुआ की नागरिकता के बारे में पूछा गया, लेकिन उनको क्लीनचिट दे दी गई है कि कहीं कोई मुकदमा नहीं है. कांग्रेस नेता ने सवाल किया कि जब मेहुल चोकसी 2015 से धोखाधड़ी कर रहे थे, तो विदेश मंत्रालय, सीबीआई, ईडी और पुलिस 2017 में मेहुल चोकसी को क्लीन चिट क्यों दे रहे थे?
राजनाथ बोले- नहीं छोड़े जाएंगे धोखाधड़ी के आरोपी
मेहुल चोकसी के वीडियो मैसेज के जरिए अपनी सफाई देने के मुद्दे पर केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, 'ऐसा पहली बार हुआ है कि आर्थिक धोखाधड़ी करके भागने वालों के खिलाफ हमारी सरकार ने बेहद प्रभावी कानून बनाया है. कानपुर में राजनाथ सिंह ने यह भी कहा कि भरोसा रखिए जो भी आर्थिक अपराध करके भागे हुए लोग हैं, उनके खिलाफ हमारी सरकार सख्त कार्रवाई कर रही है और किसी को बख्शा नहीं जाएगा. कानून के तहत जो भी सख्त से सख्त सजा होगी.
बीजेपी ने नेशनल हेराल्ड पर कांग्रेस को घेरा
वहीं, नेशनल हेराल्ड केस को लेकर कांग्रेस पर बीजेपी लगातार वार कर रही है. दिल्ली हाईकोर्ट द्वारा साल 2011-12 के लिए इनकम टैक्स के फिर से मूल्यांकन पर रोक लगाने की अर्जी खारिज करने के बाद बीजेपी नेशनल हेराल्ड को नेशनल हेराफेरी बता रही है. मामले को लेकर केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने 50 लाख रुपये में 90 करोड़ रुपये की कंपनी कैसे खरीद ली. इस मसले पर उन्होंने प्रियंका वाड्रा और रॉबर्ट वाड्रा को खींचा.
ईरानी ने आरोप लगाया कि राहुल गांधी की कंपनी एसोसिएट्स जर्नल्स ने 50 लाख देकर 90 करोड़ का लोन लिया. इसकी मदर कंपनी यंग इंडिया नेशनल हेरॉल्ड जैसे कांग्रेस मुखपत्र प्रकाशित करती है, जबकि इस कपंनी की मंशा अखबार चलाने की कतई नहीं है. स्मृति ईरानी ने आरोप लगाया कि राहुल गांधी ने इनकम टैक्स नियमों का उल्लंघन किया है.
इसके साथ ही कोर्ट पर भी दबाव बनाया कि वह मीडिया को मामले से जुड़ी खबरें प्रकाशित करने से रोके, लेकिन दिल्ली हाईकोर्ट ने सोमवार को उनकी मांग खारिज कर दी. ईरानी ने कहा कि अगर कुछ गलत नहीं हुआ तो राहुलज संकोच क्यों करते हैं, यह देश को पता लगना चाहिए. स्मृति ईरानी ने कहा कि एक ओर राहुल गांधी, प्रियंका गांधी और सोनिया गांधी की आर्थिक गतिविधियों का पर्दाफाश होता है.
इस दौरान अमेठी के चुनावी मैदान में दांव आजमाने वाली स्मृति ईरानी ने बैंकों की खस्ता हालत के लिए भी कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया. उन्होंने आरोप लगाया कि यूपीए सरकार ने भारत की बैंकिंग व्यवस्था को तबाह कर दिया. ईरानी ने कहा कि कांग्रेस पर गिरा पर्दा उठ गया. रघुराम राजन का बयान स्पष्ट करता है कि बढ़ी हुई एनपीए के लिए कांग्रेस ही जिम्मेदार है.
उन्होंने कहा कि राहुल गांधी, प्रियंका वाड्रा और सोनिया गांधी टैक्सपेयर्स का धन गड़बड़ करना चाहते थे. ईरानी ने आरोप लगाया कि यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी ने ऐसे सरकार का नेतृत्व किया, जिसने भारतीय बैंकिंग व्यवस्था पर हर दिशा से हमला किया.