महीनों की फजीहत और नाटकीय घटनाक्रम के बाद सीबीआई को आखिरकार अपना नया और परमानेंट बॉस मिल गया है. पीएम मोदी की अध्यक्षता वाली सेलेक्ट कमेटी ने 1983 बैच के IPS ऋषि कुमार शुक्ला को सीबीआई का नया निदेशक नियुक्त किया है. नई नियुक्ति पर भी विवाद हो गया है. कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने ऋषि शुक्ला को कम अनुभवी बताते हुए उनकी नियुक्ति पर आपत्ति जताई है.
जितेंद्र सिंह ने खड़गे पर साधा निशाना
खड़गे की आपत्ति पर केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने उन पर निशाना साधा है. सिंह ने आरोप लगाया कि मल्लिकार्जुन खड़गे ने अपने पसंदीदा अधिकारियों को तवज्जो देने की ‘गलत मंशा’ से CBI चीफ के चयन के मानदंडों में ‘हेरफेर’ करने की कोशिश की. उन्होंने आरोप लगाया कि खड़गे चयन समिति में हुई चर्चा के बारे में मीडिया को सिर्फ अपने हिसाब से चीजें बता रहे हैं.
अपने पसंदीदा अफसर चाहते थे खड़गे
केंद्रीय कार्मिक राज्य मंत्री सिंह ने समाचार एजेंसी भाषा को बताया कि खड़गे ने सीबीआई चीफ के चयन में हेरफेर की कोशिश की. खड़गे चाहते थे कि उम्मीदवारों की सूची में उनके पसंदीदा अफसरों को भी शामिल किया जाए. कार्मिक मंत्रालय ने आज ही आदेश जारी कर एमपी के पूर्व डीजीपी ऋषि कुमार शुक्ला को सीबीआई चीफ बनाया है. उनका कार्यकाल दो साल का होगा. 1983 बैच के IPS अधिकारी शुक्ला को आलोक कुमार वर्मा की जगह CBI चीफ के पद पर नियुक्त किया गया है. आलोक वर्मा को 10 जनवरी को सीबीआई डायरेक्टर के पद से हटाया गया था.
चयन में पूरे नियम का हुआ पालन
जितेंद्र सिंह ने कहा कि सीजेआई रंजन गोगोई ने सीबीआई चीफ के चयन में पूरे नियम कायदों का पालन किया है. गौरतलब है कि सीबीआई चीफ का चयन करने वाली समिति में पीएम मोदी के अलावा सीजेआई गोगोई और लोकसभा में कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे शामिल थे.
ग्वालियर के रहने वाले हैं ऋषि कुमार शुक्ला
ऋषि कुमार शुक्ला मध्यप्रदेश के ग्वालियर के रहने वाले हैं. उनकी पहली पोस्टिंग सीएसपी रायपुर में हुई. इसके बाद वे दमोह, शिवपुरी और मंदसौर जिले के एसपी, 2009 से 2012 तक एडीजी इंटेलिजेंस भी रह चुके हैं. इसके बाद जुलाई 2016 से जनवरी 2019 तक मध्यप्रदेश के पुलिस महानिदेशक के पद पर थे. लेकिन मध्य प्रदेश में कांग्रेस की सरकार आने के बाद उन्हें एमपी पुलिस हाउसिंग बोर्ड का चेयरमैन बना दिया गया था.
ऋषि शुक्ला के ससुर भी रहे हैं डीजी
ऋषि कुमार शुक्ला नियुक्ति दो सालों के लिए की गई है. आईपीएस शुक्ला ने 1983 और 1984 बैच के 80 आईपीएस अफसरों के बीच बाजी मारकर देश की सर्वोच्च जांच एजेंसी के मुखिया पद की कुर्सी संभाली है. आपको बता दें कि आईपीएस ऋषि शुक्ला को अभी पांच दिन पहले ही मध्य प्रदेश की कमलनाथ सरकार ने डीजीपी पद से हटाकर हाउसिंग बोर्ड का चेयरमैन बना दिया था. ऋषि कुमार शुक्ला के बारे में एक खास बात ये भी है कि वो शौकिया ज्योतिष भी हैं और उनके ससुर डीपी खन्ना भी मध्य प्रदेश के पुलिस महानिदेशक रह चुके हैं. ऋषि कुमार अगस्त 2020 में सेवानिवृत्त होने वाले थे, लेकिन अब वो फरवरी 2021 तक सीबीआई के मुखिया रहेंगे.