बिहार राज्य मंत्रिमंडल ने प्रदेश के विभिन्न विश्वविद्यालयों एवं उसके अधिनस्थ अंगीभूत महाविद्यालयों में रिक्त 3493 सहायक प्रोफेसरों के पदों पर नियुक्ति किये जाने को अपनी मंजूरी प्रदान कर दी.
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में संपन्न राज्य मंत्रिपरिषद की बैठक के बाद पत्रकारों को संबोधित करते हुए मंत्रिमंडल सचिवालय समन्वय विभाग के प्रधानसचिव रविकांत ने बताया कि मंत्रिमंडल ने प्रदेश के विभिन्न विश्वविद्यालयों एवं उसके अधीनस्थ अंगीभूत महाविद्यालयों में अध्ययनरत छात्रों की संख्या और कोर्स आदि के आधार पर उन्हें युक्तिसंगत बनाए जाने को अपनी अपनी मंजूरी प्रदान कर दी.
उन्होंने कहा कि इस आधार पर प्रदेश के विभिन्न विश्वविद्यालयों एवं उसके अधीनस्थ अंगीभूत महाविद्यालयों में कुल स्वीकृत पदों की संख्या अब 10008 होगी और उसमें से रिक्त 3493 सहायक प्रोफेसरों के पदों पर नियुक्ति का मार्ग अब प्रशस्त हो गया है.
रविकांत ने बताया कि वर्तमान में प्रदेश के विभिन्न विश्वविद्यालयों एवं उसके अधीनस्थ अंगीभूत महाविद्यालयों में कुल 6515 शिक्षक कार्यरत हैं.
उन्होंने बताया कि मंत्रिमंडल ने बिहार जिला परिषद माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक शिक्षक (नियोजन एवं सेवाशर्त) (संशोधन) नियामवली 2012 एवं बिहार नगर निकाय माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक शिक्षक शिक्षक (नियोजन एवं सेवाशर्त) (संशोधन) नियामवली 2012 को अपनी स्वीकृति प्रदान कर दी है.
उन्होंने कहा कि इन नियामवली में संशोधन के बाद पूर्व में आयोजित माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा में उत्तीर्ण अभ्यर्थियों का ही नियोजन अब माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक शिक्षक के पद पर किया जाएगा.
रविकांत ने कहा कि मेरिट लिस्ट को अभ्यर्थियों के अंकपत्र में अंकित प्राप्तांक और आयोजित मेधा परीक्षा में प्राप्त अंक के आधार पर तैयार किया जाएगा. उन्होंने बताया कि मंत्रिमंडल ने प्रदेश के चिकित्सा महाविद्यालय अस्पतालों के जूनियर डाक्टरों (पीजी छात्रों) के मानदेय को 25 हजार रुपये से बढाकर प्रतिमाह 30 हजार रुपये किए जाने को अपनी मंजूरी दे दी है.
रविकांत ने बताया कि त्रिस्तरीय पंचायत राज संस्थानों एवं ग्राम कचहरी के प्रतिनिधियों, जिला परिषद के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, पंचायत समिति के प्रमुख एवं उपप्रमुख, ग्राम पंचायत के मुखिया एवं उपमुखिया, ग्राम कचहरी के सरपंच एवं उपसरपंच को नियत भत्ते, दैनिक भत्ते एवं यात्रा भत्ता के लिए वर्ष 2012-13 में 92 करोड रुपये के अनुदान को मंत्रिमंडल ने अपनी स्वीकृति प्रदान कर दी है.
उन्होंने बताया कि इस राशि में अनुसूचित जाति एवं जन जाति, अत्यंत पिछडा वर्ग के पुरुष एवं महिला और अन्य वर्ग की महिला जो गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन कर रही हैं को दिए जाने वाला विशेष मानदेय भी शामिल है.
रविकांत ने कहा कि मंत्रिमंडल ने बिहार लोकायुक्त खोजबीन समिति (कार्यकाल, वेतन एवं भत्ते) नियमावली, 2012 के प्रारूप का अनुमोदन कर दिया है. उन्होंने कहा कि मंत्रिमंडल ने बिहार विशेष सर्वेक्षण एवं बंदोबस्त नियमावाली 2012 को भी अपनी स्वीकृति प्रदान कर दी है.