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स्‍पीक एशिया की बोलती बंद, सरकार करा रही जांच

ऑनलाइन सर्वे के नाम पर लाखों लोगों से करोड़ों रुपये वसूल रही स्पीक एशिया ऑनलाइन कंपनी कठघरे में खड़ी हो गई है. आजतक के स्टिंग ऑपरेशन में कंपनी के बेनकाब होने के बाद केंद्र सरकार ने ऐसी कंपनियों की पड़ताल शुरू कर दी है और जल्द ही कंपनी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा सकती है.

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ऑनलाइन सर्वे के नाम पर लाखों लोगों से करोड़ों रुपये वसूल रही स्पीक एशिया ऑनलाइन कंपनी कठघरे में खड़ी हो गई है. आजतक के स्टिंग ऑपरेशन में कंपनी के बेनकाब होने के बाद केंद्र सरकार ने ऐसी कंपनियों की पड़ताल शुरू कर दी है और जल्द ही कंपनी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा सकती है.

खबर ये भी आ रही है कि बांग्लादेश में स्पीक एशिया के दो लोगों को कल गिरफ्तार किया गया है. जिनके खिलाफ एक ग्राहक ने फर्जीवाड़े की शिकायत की थी. आजतक पर कंपनी के भंडाफोड़ के बाद बीजेपी नेता किरीट सोमैया समेत कई लोगों ने स्पीक एशिया कंपनी के जरिए जालसाजी के खिलाफ खुलकर बोला था.

कंपनी के अधिकारियों ने अपनी सफाई में जो खुलासा किया है, उसके मुताबिक सिंगापुर की इस कंपनी के नीचे पांच कंपनियां हैं और कंपनियों के बीच लेन-देन का मामला साफ नहीं है. ये कंपनी ऑनलाइन सर्वे के नाम पर 11 हजार रुपये फीस लेती है और ग्राहक को सर्वे फॉर्म भरने के बदले पैसे देती है. इसमें फायदा देखकर लाखों लोग कंपनी से जुड़ चुके हैं, लेकिन सवाल उठता है कि करोड़ों लोगों से पैसे लेकर कंपनी अगर चंपत हो जाए तो उनका पैसा कहां से आएगा.

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केंद्र सरकार के कंपनी मामलों के सचिव डी के मित्तल से बात की संवाददाता कार्तिकेय शर्मा ने. डी के मित्तल ने कहा है कि सरकार ऐसी कंपनियों के खिलाफ जल्द ही सख्त कदम उठाएगी.

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