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पंजाब में 'युद्ध नशे के विरुद्ध' कैंपेन में अब तक 16 हजार से ज्यादा अरेस्ट, 622 KG हेरोइन बरामद

मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि नशे के आदी लोगों की काउंसलिंग और इलाज की तत्काल आवश्यकता को पूरा करने के लिए राज्य सरकार 6 महीने के लिए अस्थायी आधार पर 200 साइकोलॉजिस्ट नियुक्त करेगी. साथ ही कहा कि पंजाब की मान सरकार नशा मुक्ति केंद्रों और ओओएटी क्लीनिकों में 1000 अतिरिक्त बेड जोड़कर बुनियादी ढांचे को और डेवलप करेगी.

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पंजाब के वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा  (फाइल फोटो)
पंजाब के वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा (फाइल फोटो)

पंजाब के वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा ने मंत्री तरुणप्रीत सोंध के साथ 'युद्ध नशे विरुद्ध' पर कैबिनेट की उप-समिति की एक अहम मीटिंग की. बैठक के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए चीमा ने नशे की समस्या से निपटने को लेकर कई अहम उपायों का ऐलान किया. साथ ही पंजाब को नशा मुक्त बनाने के लिए सीएम भगवंत मान के नेतृत्व में आम आदमी पार्टी सरकार की योजनाओं के बारे में बताया.

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200 साइकोलॉजिस्ट नियुक्त किए जाएंगे

मंत्री चीमा ने कहा कि नशे के आदी लोगों की काउंसलिंग और इलाज की तत्काल आवश्यकता को पूरा करने के लिए राज्य सरकार 6 महीने के लिए अस्थायी आधार पर 200 साइकोलॉजिस्ट नियुक्त करेगी. चीमा ने कहा कि नशे के आदी ऐसे रोगी होते हैं, जिन्हें चिकित्सा उपचार और मनोवैज्ञानिक सहायता दोनों की जरूरत होती है, उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य विभाग को मनोवैज्ञानिकों के लिए नियमित पद स्वीकृत करने के निर्देश दिए गए हैं, जिनकी स्थायी भर्ती अगले 6 महीनों के भीतर पूरी कर ली जाएगी.

नशा मुक्ति केंद्रों में 1000 अतिरिक्त बेड

पंजाब की मान सरकार नशा मुक्ति केंद्रों और ओओएटी क्लीनिकों में 1000 अतिरिक्त बेड जोड़कर बुनियादी ढांचे को और डेवलप करेगी. इसके अलावा निजी नर्सिंग संस्थानों और नशा मुक्ति केंद्रों के साथ साझेदारी से अतिरिक्त 1000 बेड उपलब्ध कराए जाएंगे. इससे ये सुनिश्चित होगा कि जब मरीजों की संख्या सरकारी क्षमता से अधिक हो जाए, तो नशे के आदी लोगों को तुरंत निजी सुविधाओं में शिफ्ट किया जा सके. इसका खर्च सरकार ही वहन करेगी.

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दैनिक मनोचिकित्सकीय सेवाएं

अस्पतालों, ओओएटी क्लीनिकों और नशा मुक्ति केंद्रों में रोगियों को विशेष उपचार प्रदान करने के लिए मनोचिकित्सकों को प्रतिदिन 2 घंटे के लिए नियुक्त किया जाएगा. प्रत्येक मनोचिकित्सक को इन 2 घंटों के लिए 3000 रुपए का भुगतान किया जाएगा. जिससे जरूरी परामर्श, इलाज और दवा उपलब्ध कराई जा सकेगी. स्वास्थ्य सुविधाओं में नर्सिंग और पैरामेडिकल स्टाफ की कमी को दूर करने के लिए एक सप्ताह के भीतर एक व्यापक प्रस्ताव प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया है.

नशे की लत से उबरने वालों के लिए कौशल विकास कार्यक्रम

पंजाब सरकार सामान्य जगहों के अलावा जेलों में भी कौशल विकास केंद्र स्थापित करेगी. ये कार्यक्रम नशे की लत से उबरने वालों को व्यावसायिक प्रशिक्षण प्रदान करेंगे, जिससे समाज में वापस आने पर उनके पास स्थायी आजीविका सुनिश्चित होगी.

'युद्ध नशे के विरुद्ध' अभियान का व्यापक असर

मंत्री चीमा ने 'युद्ध नशे के विरुद्ध' अभियान की उपलब्धियों की सराहना की. साथ ही पंजाब में नशे की समस्या से निपटने में इसके प्रभाव पर प्रकाश डाला. उन्होंने बताया कि इस अभियान के चलते 9580 नशे से संबंधित मामले दर्ज किए गए. कई कुख्यात तस्करों और गैंगस्टरों समेत 16348 आरोपियों की गिरफ्तारी हुई. इसके अतिरिक्त सरकार ने नशा तस्करों की 118 संपत्तियों को ध्वस्त किया. 622 किलोग्राम हेरोइन जब्त की और 11 करोड़ रुपये नगद बरामद किए. चीमा ने कहा कि नशे के खिलाफ लड़ाई अब एक जन आंदोलन बन गई है. अब लोग खुद नशा तस्करों के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान कर रहे हैं. 

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विपक्षी दलों की तीखी आलोचना

चीमा ने नशे को लेकर कांग्रेस, अकाली दल और भाजपा की आलोचना की. उन्होंने उन पर अपने शासन के दौरान नशे के व्यापार को बढ़ावा देने और तस्करों को संरक्षण देने का आरोप लगाया. चीमा ने कहा कि जब पंजाब में कांग्रेस, अकाली दल और भाजपा का शासन था, तो उन्होंने नशा तस्करी के नेटवर्क को बढ़ावा दिया. उन्होंने पंजाब को नशे का पर्याय बना दिया. आज भी वे समाधान में योगदान देने के बजाय हमारे प्रयासों की आलोचना कर रहे हैं. मंत्री ने विपक्षी नेताओं की मंशा पर सवाल उठाते हुए कटाक्ष किया कि कई विपक्षी नेताओं को डोप टेस्ट कराना चाहिए और खुद नशा मुक्ति केंद्रों में भर्ती होना चाहिए. चीमा ने अवैध शराब के धंधे में शामिल लोगों को बचाने के लिए अकाली दल पर हमला बोला और कहा कि हमने तस्करी के वीडियो और तस्वीरों सहित कई ठोस सबूत एकत्र किए हैं. इन मामलों को दोषसिद्धि सुनिश्चित करने के लिए पूरी ताकत के साथ अदालत में पेश किया जाएगा.

सुनील जाखड़ पर कसा तंज

चीमा ने सुनील जाखड़ और अन्य विपक्षी नेताओं पर भी कटाक्ष किया और उनके बार-बार पार्टी बदलने का मजाक उड़ाया. चीमा ने चुटकी लेते हुए कहा कि सुनील जाखड़ पहले कांग्रेस में थे, फिर भाजपा में आ गए. शायद उनका मूड फिर से बदल जाए और वे अकाली दल में शामिल होकर उनके अध्यक्ष बन जाएं. उन्हें हमेशा से केवल पद में दिलचस्पी रही है, सेवा में नहीं. चीमा ने कहा कि नशा तस्करी का नेटवर्क अब टूट गया है, जल्द ही पंजाब पूरी तरह नशा मुक्त बनेगा.

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