scorecardresearch
 

दीनानगर: परिवार ने किया शहीद का अंतिम संस्कार करने से इंकार

दीनानगर में सोमवार को आतंकवादियों का मुकाबला करते हुए अपने प्राणों की आहूति देने वाले पुलिस अधिकारी बलजीत सिंह के परिवार वालों ने उनका अंतिम संस्कार करने से यह कहते हुए इंकार कर दिया कि पहले राज्य सरकार उनके बेटे को पुलिस अधीक्षक रैंक के और उनकी बेटियों को तहसीलदार के पद के लिए नियुक्ति पत्र दे.

Advertisement
X
पुलिस अधिकारी बलजीत सिंह
पुलिस अधिकारी बलजीत सिंह

दीनानगर में सोमवार को आतंकवादियों का मुकाबला करते हुए अपने प्राणों की आहूति देने वाले पुलिस अधिकारी बलजीत सिंह के परिवार वालों ने उनका अंतिम संस्कार करने से यह कहते हुए इंकार कर दिया कि पहले राज्य सरकार उनके बेटे को पुलिस अधीक्षक रैंक के और उनकी बेटियों को तहसीलदार के पद के लिए नियुक्ति पत्र दे.

मांग पर प्रशासन का आश्वासन
प्रशासन से आश्वासन मिलने के बाद उन्होंने अपनी मुख्य मांग छोड़ने का फैसला किया. शहीद अधिकारी के बेटे मनिंदर सिंह ने बताया कि जालंधर क्षेत्र के पुलिस महानरीक्षक लोकनाथ आंगरा के आश्वासन देने के बाद मुख्य मांग छोड़ दी गई. उन्होंने बताया कि इस पुलिस अधिकारी ने भरोसा दिलाया कि बलजीत सिंह के अंतिम संस्कार के बाद प्रशासन परिवार की मांगों पर सहानुभूतिपूर्वक विचार करेगा.

बुधवार को होगा अंतिम सरकार
परिवार ने बुधवार को दिन में 11:30 बजे बलजीत सिंह का अंतिम संस्कार करने का फैसला किया है. इस मौके पर पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल के भी उपस्थित रहने की संभावना है. इससे पहले दिन में दिवंगत पुलिस अधीक्षक (खुफिया) की पत्नी कुलवंत कौर ने कहा था कि उनके ससुर, पुलिस निरीक्षक अछर सिंह के निधन के बाद उनके पति के लिए नियुक्ति हासिल करने में करीब दो साल का समय लगा था और परिवार को लम्बे समय तक परेशानी का सामना करना पड़ा था.

Advertisement

नहीं दिए थे आधुनिक हथियार
बलजीत सिंह एक पुलिसकर्मी अछर सिंह के बेटे थे. पंजाब में 1984 में उग्रवाद चरम पर था और उन्हीं दिनों अछर सिंह उग्रवादियों के हाथों मारे गए थे. कुलवंत कौर ने आरोप लगाया कि राज्य सरकार ने उग्रवादियों से लड़ने के लिए पुलिस बल को आधुनिक हथियार मुहैया नहीं कराए थे.

उग्रवादियों के हाथों पिता की मौत
वर्ष 1984 में उग्रवादियों के हाथों पिता के मारे जाने के बाद बलजीत 1985 में एएसआई के तौर पर पुलिस बल में शामिल हुए थे. उन्होंने फगवाड़ा थाना प्रभारी के तौर पर काम किया था और मानसा में सतर्कता विभाग में भी अपनी सेवाएं दी थीं. इसके बाद उन्हें सातवीं आईआरबी बटालियन में उप कमांडेंट का पद दिया गया था. बलजीत के परिवार में उनका बेटा मनिंदर सिंह (24 साल), बेटियां परमिंदर कौर (22 साल) और रविंदर कौर (20 साल) हैं.

इनपुट- भाषा

Advertisement
Advertisement