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हरियाणा: टोहाना में टकराव की नौबत, रात भर धरने पर बैठे रहे राकेश टिकैत, किसानों की रिहाई पर सहमति नहीं

फतेहाबाद के टोहाना में गिरफ्तार किए गए किसानों की रिहाई पर सहमति नहीं बन पाई है. इस कारण रात भर राकेश टिकैत, गुरनाम सिंह चढूनी, योगेंद्र यादव, जोगेंद्र नैन सहित बड़े किसान नेता धरने पर बैठे रहे और गिरफ्तारी देने की मांग करते रहे.

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राकेश टिकैत और अन्य किसान नेता धरने पर बैठे हुए हैं (फोटो- @RakeshTikaitBKU)
राकेश टिकैत और अन्य किसान नेता धरने पर बैठे हुए हैं (फोटो- @RakeshTikaitBKU)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • किसानों की रिहाई की मांग का रहे हैं किसान
  • पुलिस और किसान नेताओं में नहीं बनी सहमति
  • गांव-गांव से टोहाना पहुंच रहे हैं किसान

कृषि कानूनों को लेकर सरकार और किसानों के बीच टकराव जारी है. फतेहाबाद के टोहाना में गिरफ्तार किए गए किसानों की रिहाई पर सहमति नहीं बन पाई है. इस कारण रात भर राकेश टिकैत, गुरनाम सिंह चढूनी, योगेंद्र यादव, जोगेंद्र नैन सहित बड़े किसान नेता धरने पर बैठे रहे और गिरफ्तारी देने की मांग करते रहे.

आज दूसरे दिन किसानों की रणनीति के बारे में जानकारी ये है कि हरियाणा में सभी गांवों से किसानों को टोहाना पहुंचने की अपील की गई है. इसलिए माना जा रहा है कि बड़ी संख्या में किसान ट्रैक्टर ट्राली लेकर टोहाना कूच कर सकते हैं.

स्थानीय स्तर पर कुछ ट्रैक्टर-ट्रालियां रात को ही टोहाना पहुंच गईं थीं और आज थाने पर टेंट लगाकर धरना जारी रखे जाने की तैयारी किसान कर रहे हैं. अब तक मिली जानकारी के अनुसार प्रशासन की तरफ से कोई नया प्रस्ताव या नई बात अभी तक सामने नहीं आई है.

नए अपडेट के अनुसार टोहाना के सदर थाने में किसानों ने पक्का मोर्चा लगाने की तैयारी शुरू कर दी है. इसके लिए तंबू गाड़ना शुरू कर दिया है. प्रशासन की ओर से नए सिरे से कोई प्रस्ताव नहीं मिलने और कोई बातचीत शुरू नहीं होने पर किसानों ने ये तयारी शुरू की है. किसान नेता बार बार कह रहे हैं कि या तो जेल में बन्द किसानों को छोड़ा जाए या फिर हमें भी गिरफ्तार किया जाए.

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कान खोलकर सुन ले सरकार, किसान आंदोलन खत्म नहीं होगा: राकेश टिकैत

ट्विटर पर भी किसान नेता राकेश टिकैत ने टोहाना में चल रहे टकराव के बारे में जनता से अपील करते हुए कहा है कि ''टोहाना में किसानों का संघर्ष जारी है अभी तक किसानों की रिहाई नहीं हुई है. आप इस आंदोलन पर नजर बनाए रहे, जो भी फैसला हो अपने जनपदों में उसका पालन करें.''

आपको बता दें कि कृषि कानूनों को लेकर पिछले 6 महीने से किसान दिल्ली बॉर्डर पर धरना दे रहे हैं, इसके अलावा पंजाब, हरियाणा और यूपी जैसे राज्यों जो दिल्ली से सटे हुए हैं वहां किसान लगातार विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. 

किसान नेता राकेश टिकैत ने आज फिर ट्विटर पर कृषि कानूनों के खिलाफ अपनी लड़ाई की प्रतिबद्धता को दोहराते हुए कहा है कि कृषि कानूनों के हटाए नहीं जाने तक वे दिल्ली बॉर्डर से नहीं हटेंगे. राकेश टिकैत ने ट्विटर पर कहा है ''भारत सरकार को इन काले कानूनों को वापस लेना ही होगा.''

 

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