पिछले कुछ दिनों से लगातार प्रदूषित दिल्ली की आबोहवा सोमवार को भी नहीं सुधरी. हालात ये है कि संसद भवन के पास भी हवा में प्रदूषण खतरनाक स्तर तक पहुंच गया है. सोमवार को जब 'आजतक' की टीम ने देश की सबसे ताकतवर जगह यानी विजय चौक में एयर क्वालिटी इंडेक्स की जानकारी ली तो पाया कि सुबह 10 बजे यहां प्रदूषण का स्तर 495 था जो कि सेहत के लिए बेहद ज्यादा खतरनाक है.
आपको बता दें कि विजय चौक देश की सबसे ज्यादा संवेदनशील और ताकतवर जगह मानी जाती है जहां राष्ट्रपति भवन, संसद भवन और प्रधानमंत्री कार्यालय समेत कई महत्वपूर्ण मिनिस्ट्री के दफ्तर हैं. सोमवार को स्मॉग के चलते यहां बनी सभी इमारतें धुंध की चादर में लपटी दिखीं. यहां दफ्तरों में आने वाले लोग भी मास्क पहन कर दफ्तर जाते दिखे.
दिल्ली में फैले स्मॉग के बीच सिविक एजेंसियों की लापरवाही भी देखने को मिल रही है. जब हमारी टीम संजय गांधी ट्रांसपोर्ट नगर पहुंची तो वहां खुले में पत्तियां जलती दिखीं. यही नहीं पत्तियों के साथ बड़ी मात्रा में प्लास्टिक भी यहां जल रहा था जिससे निकलने वाला धुआं आसपास के इलाकों को प्रदूषित कर रहा था लेकिन लगता है एमसीडी को इसकी भनक तक नहीं थी. नॉर्थ एमसीडी ने सूखे पत्तों को जलाने से रोकने के लिए टास्क फोर्स बनाई है लेकिन उसका कोई असर यहां नहीं दिखा.
भारी प्रदूषण से घुट रही दिल्ली के लिए एक और बुरी खबर है. पिछले दो दिनों से उत्तरी दिल्ली की भलस्वा लैंडफिल साइट पर आग लगी हुई है. जिससे भारी मात्रा में जहरीला धुआं वातावरण में घुल रहा है. रविवार को जब 'आजतक' की टीम यहां पहुंची तो पाया कि लैंडफिल साइट के अंदर उस वक्त भी आग लगी हुई है जिसके कारण पूरे इलाके में धुएं का गुबार है.
उत्तरी दिल्ली की मेयर प्रीति अग्रवाल के मुताबिक उन्होंने लैंडफिल साइट की आग के लिए कमिश्नर को एक कमेटी बनाने के लिए कहा है जो जल्द ही लैंडफिल साइट की आग पर रिपोर्ट तैयार करेगी की कैसे आग लगने की घटनाओं को रोका जाए.