देश की राजधानी में सरकारी एजेंसी की लापरवाही ने एक मासूम बच्चे की जान ले ली, लेकिन जिम्मेदारी लेने की बजाए सरकार और काम करने वाली एजेंसी एक-दूसरे पर ही आरोप लगाती नजर आ रही हैं.
बड़े-बड़े गड्ढों में भरे पानी ने ली जान
ये पूरा मामला दिल्ली के बुराड़ी इलाके का है, जहां बड़े-बड़े गड्ढों में पानी भर जाने की वजह से ग्राउंड का पता नहीं चल पा रहा है. गड्ढों से अनजान जस्टिन नाम का बच्चा कटी हुई पतंग के पीछे दौड़ लगाते हुए, पानी से भरे गड्ढे में गिर गया और उसकी मौत हो गई.
शुरू हो गया आरोप-प्रत्यारोप
हादसे के बाद दिल्ली सरकार के जल बोर्ड पर लापरवाही के आरोप लगे, तो जल बोर्ड के अध्यक्ष कपिल मिश्रा ने NDPL पर ही आरोप लगा दिए. कपिल मिश्रा का कहना है कि 'हादसे के बाद बोर्ड से रिपोर्ट मंगाई थी, जिसमें लिखा है कि वो जमीन जल बोर्ड की नहीं, बल्कि NDPL को दी गई थी.'
पांच दिनों में डीएम से मांगी रिपोर्ट
फिलहाल जल बोर्ड के अध्यक्ष कपिल मिश्रा ने इलाके के डीएम को 5 दिनों के अंदर हादसे की पूरी रिपोर्ट देने के लिए कहा है. दिल्ली सरकार ने आश्वासन दिया है कि हादसे के लिए जो भी जिम्मेदार होगा, उसके खिलाफ कार्रवाई होगी, हालांकि तुरंत कार्रवाई के सवाल को सरकार ने रिपोर्ट का हवाला देते हुए टाल दिया.
लापरवाही के चलते पहले भी जा चुकी है जान
ये पहला मामला नहीं है, जब किसी बच्चे को सरकारी एजेंसियों की लापरवाही की वजह से जान गंवानी पड़ी है. पिछले दिनों PWD के खुले नाले में गिर जाने की वजह से एक बच्चे की मौत हो गई थी. हैरान करने वाली बात ये है कि बुराड़ी के जिस इलाके में जस्टिन नाम के बच्चे की मौत हुई, वहां निर्माण कार्य के दौरान न कोई चेतावनी दी गई, न बैरिकेड लगाए गए और न ही दिवार बनाई गयी थी.
बारिश के मौसम में ऐसे कई हादसे देखने मिलते हैं, ऐसे में देखना होगा की क्या सरकार और तमाम एजेंसियां बच्चे की मौत से सबक लेती हैं या नहीं.