दिल्ली के पूर्व कानून मंत्री जितेंद्र सिंह तोमर की फर्जी डिग्री मामले में कार्रवाई को लेकर अब तक पहले आप, पहले आप कर रही दिल्ली पुलिस और टीएमबीयू में आखिरकार तकरार थम गया है. तिलका मांझी भागलपुर विश्वविद्यालय ने तोमर की डिग्री रद्द कर दी है.
तिलका मांझी भागलपुर विश्वविद्यालय के कुलपति कार्यालय में परीक्षा बोर्ड की बैठक पर ये फैसला लिया गया. परीक्षा बोर्ड की बैठक में तोमर को फर्जी डिग्री जारी करने वाले 14 अधिकारियों और कर्मचारियों पर भी कार्रवाई करने का निर्णय लिया गया है. अनुशासन समिति के अध्यक्ष और कुलपति प्रो. रमाशंकर दुबे और अन्य सदस्यों ने 14 लोगों में से दो के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने का फैसला लिया है. साथ ही दो लोगों को निलंबित, चार कर्मचारियों से परीक्षा से संबंधित कार्य नहीं कराने पर फैसला लिया गया. मामले को अनुमोदन के लिए भी सिंडिकेट की बैठक में रखा जाएगा. कार्रवाई की अंतिम प्रक्रिया राजभवन से होगी.
जितेंद्र सिंह तोमर ने तिलका मांझी भागलपुर विश्वविद्यालय में फैजाबाद से जारी स्नातक की डिग्री जमा कराई थी और माइग्रेसन का सर्टिफिकेट बुंदेलखंड विश्वविद्यालय का जमा कराया था.