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फैक्ट चेक: बिहार में पुलिस कार्रवाई का पुराना वीडियो यूपी में लॉकडाउन से जोड़कर वायरल

लॉकडाउन के दौरान सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है. वीडियो में सड़क पर पुलिसकर्मी, मुस्लिम टोपी पहने कुछ लोगों को डंडों से पीटते नजर आ रहे हैं. जानिए, क्या है वायरल वीडियो की सच्चाई.

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आजतक फैक्ट चेक

दावा
यूपी में कोरोना वायरस फैला रहे लोगों को पीटती पुलिस
सोशल मीडिया यूजर्स
सच्चाई
वायरल वीडियो पांच साल पुराना है और बिहार का है.

देश के ज्यादातर हिस्सों में कोरोना वायरस को बढ़ने से रोकने के लिए लॉकडाउन जारी है. लोग अपने घरों में ही सुरक्षित रहें यह सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी पुलिस ​निभा रही है. वहीं, एक ​वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. वीडियो में सड़क पर पुलिसकर्मी, मुस्लिम टोपी पहने कुछ लोगों को डंडों से पीटते नजर आ रहे हैं.

वीडियो को कोरोना वायरस से जोड़ते हुए दावा किया जा रहा है कि यह वीडियो यूपी का है. जहां कुछ लोग कोरोना वायरस फैलाने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन पुलिस ने उसकी पिटाई कर दी.

वायरल हो रहा वीडियो न केवल पांच साल पुराना है, ​बल्कि यह उत्तर प्रदेश का नहीं, बिहार का है.

पोस्ट का आर्काइव्ड वर्जन यहां देखा जा सकता है.

वीडियो के 35वें सेकेंड पर एक बोर्ड नजर आता है जिस पर गर्दनीबाग थाना लिखा हुआ है. गर्दनीबाग थाना बिहार के पटना में है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार अगस्त 2015 में गर्दनीबाक स्टेडियम पर ऑल इंडिया मुस्लिम मजलिस-ए-मुशावरत (AIMMM) और मदरसा के टीचर्स ने मिलकर बिहार के 2459 मदरसों की हालत सुधारने की मांग करते हुए प्रदर्शन किया था.

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प्रदर्शनकारी मुख्यमंत्री आवास पहुंचने का प्रयास कर रहे थे, जिन्हें खदेड़ने के लिए पुलिस ने लाठीचार्ज किया था. हमें इस घटना का वीडियो मिड-डे की वेबसाइट पर भी मिला.

यह वीडियो पिछले साल भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. कश्मीर से आर्टिकल 370 खत्म करने के बाद वहां बने माहौल के दौरान इसे गलत दावों के साथ शेयर किया गया था. तब आजतक ने इस वीडियो का सच सामने रखा था.

लिहाजा इस वीडियो का कोरोना वायरस से कोई लेना देना नहीं है.

क्या आपको लगता है कोई मैसैज झूठा ?
सच जानने के लिए उसे हमारे नंबर 73 7000 7000 पर भेजें.
आप हमें factcheck@intoday.com पर ईमेल भी कर सकते हैं
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