यूनिवर्सिटी ग्रांट कमीशन (यूजीसी) ने कॉलेजों में राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) को वैकल्पिक विषय के रूप में शामिल करना तय किया है. अभी तक एनएसएस सिर्फ एक एक्टिविटी के रूप में शामिल था.
यूजीसी, केंद्रीय मानव संसाधन मंत्रालय और केंद्रीय शिक्षा सलाहकार बोर्ड ने एनएसएस को कॉलेजों में वैकल्पिक विषय के तौर पर शुरू करने का फैसला लिया है. कोर्स का माड्यूल भी तैयार कर दिया गया है. एनएसएस विषय के छह सेमेस्टर होंगे.
जिससे प्राप्त अंकों के आधार पर कई नौकरियों में स्टूडेंट्स को लाभ मिलता था. लेकिन अब यह उच्च शिक्षा का अनिवार्य हिस्सा बनने जा रहा है तथा अन्य विषयों की तरह विषय होगा.
हर पेपर में 60 नंबर की थ्योरी, 40 नंबर का प्रैक्टिकल होगा . वैकल्पिक विषय एनएसएस में विद्यार्थियों में सामाजिक कल्याण, सद्भाव और देश प्रेम के चैप्टर पढ़ाए जाएंगे. यूजीसी ने सभी विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को इस बाबत निर्देश जारी कर दिए हैं. क्रेडिट आधारित वैकल्पिक विषय के रूप में एनएसएस को कॉलेजों में शुरू किया जा रहा है.