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एजुकेशन न्यूज़

CBSE Change: अगले साल कैसे बनेगी 10वीं-12वीं की मार्कशीट, परीक्षा में क्या पूछा जाएगा?

प्रतीकात्मक फोटो (Getty)
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कोरोना महामारी के चलते इस साल 10वीं-12वीं की बोर्ड परीक्षाएं नहीं हुईं. अब अगले साल के लिए अभी से बोर्ड ने पूरी तैयारी कर ली है. अगले साल पिछले साल की तर्ज पर सिलेबस तो कम होगा ही, साथ ही अगले साल एग्जाम भी दो टर्म में होंगे. एकेडमिक सेशन 2021-22 में 10वीं-12वीं के छात्रों के लिए दो बार परीक्षा कराने का फैसला किया है. अगर आपके मन में अगले सत्र को लेकर कुछ सवाल कौंध रहे हैं तो उनका जवाब यहां जानिए...

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नये एकेडमिक सेशन में सिलेबस को भी दो भागों में बांटा जाएगा. इसके साथ-साथ सत्र को भी टर्म 1 और टर्म 2 में बांटा गया है. नवंबर-दिसंबर में होने वाली पहली परीक्षा में पहले 50% सिलेबस से जुड़े प्रश्न पूछे जाएंगे. सत्र के अंत में होने वाली परीक्षा में बाकी बचे 50 फीसदी सिलेबस से सवाल पूछे जाएंगे, जो मार्च-अप्रैल के महीने में होंगे. बोर्ड का तर्क है कि ये कदम इसलिए उठाया जा रहा है कि सत्र खत्म होने पर बोर्ड परीक्षाएं आयोजित करने की संभावनाएं बढ़ाई जा सकें.

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बीते साल सीबीएसई ने हर विषय में पढ़ाए जाने वाले टॉपिक को कम कर दिया था. इसके बाद छात्रों को हर विषय में से लगभग 30% हिस्सा कम किया गया था. इस एकेडमिक सत्र से बोर्ड परीक्षाओं के सिलेबस में तार्किकता लाने की बात कही है. सरल शब्दों में इसका मतलब सिलेबस में कटौती से ही है. वहीं इसका पूरा फ़ॉर्मूला जानने के लिए छात्रों को इस महीने के अंत तक इंतज़ार करना होगा.

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सीबीएसई के नये चेंज के बाद से छात्रों के मन में कई सवाल हैं, जैसे एग्जाम कैसे होंगे. दो बार होने वाले इन एग्जाम्स में पूछा क्या जाएगा. क्या ये परीक्षाएं घर से ही देनी होंगी या इस बार छात्र स्कूल जाकर इम्तिहान दे सकेंगे? इसके साथ ही एक सवाल ये भी है कि क्या कोविड की तीसरी लहर आने पर पिछली बार की तरह एग्जाम कैंसि‍ल हो सकते हैं? सीबीएसई ने इन सभी सवालों का जवाब दिया है. 

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महामारी के हालात पूरी तरह सुधर जाते हैं और स्टूडेंट्स स्कूल या सेंटरों पर जाकर परीक्षा दे सकते हैं तो ऐसे हालात होने पर बोर्ड का कहना है कि बोर्ड टर्म 1 व 2 परीक्षाएं स्कूल या सेंटर्स पर लेगा. इसमें थ्योरी के नंबर दोनों एग्जाम्स के बीच बराबर बांट दिए जाएंगे. इसके अलावा महामारी के कारण हालात ऐसे हो जाते हैं कि नवंबर-दिसंबर 2021 के दौरान स्कूलों को पूरी तरह बंद कर दिया जाता है, लेकिन टर्म 2 एग्जाम स्कूलों या परीक्षा केंद्रों पर होते हैं. इस पर बोर्ड का कहना है कि टर्म 1 एग्जाम एमसीक्यू बेस्ड एग्जाम है इसे छात्र ऑनलाइन अपने घर से या ऑफलाइन दोनों तरह से दे सकते हैं. ऐसे मामले में इस एग्जाम का वेटेज फाइनल स्कोर में घटा दिया जाएगा, और टर्म टू का वेटेज फाइनल रिजल्ट में बढ़ा दिया जाएगा. 

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इसके ठीक उलट नवंबर दिसंबर के बजाय मार्च-अप्रैल 2022 में पूरी तरह से स्कूल बंद हो जाते हैं, लेकिन टर्म 1 एग्जाम स्कूल या सेंटर्स पर हुए हैं तो ऐसे में कैसे असेसमेंट या एग्जाम होंगे. इस हालात पर बोर्ड का तर्क है कि ऐसे में रिजल्ट स्टूडेंट्स की टर्म वन एग्जाम में परफार्मेंस और इंटरनल असेसमेंट के आधार पर बनेगा. टर्म वन एग्जाम में मिले नंबरों का वेटेज रिजल्ट में उस साल बढ़ा दिया जाएगा. 

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अगर मान लीजिए ऐसी स्थ‍िति बनती है कि स्कूल पूरी तरह बंद हो जाते हैं और स्टूडेंट्स 2021-22 में टर्म 1 व 2 दोनों ही एग्जाम घर से देते हैं तो कैसे रिजल्ट बनेगा. इस पर बोर्ड की तैयारी कुछ इस तरह है कि इन हालातों में बोर्ड इंटरनल असेसमेंट/प्रैक्ट‍िकल/प्रोजेक्ट वर्क और टर्म वन और टू के घर से क्लास 10 व 12 के सब्जेक्ट व थ्योरी मार्क्स के अलावा मॉडरेशन या असेसमेंट के अन्य मानकों पर विचार करेगा. बोर्ड का कहना है कि इन सभी मामलों में आंतरिक मूल्यांकन और गृह आधारित परीक्षाओं की अखंडता सुनिश्चित करने के लिए छात्रों के अंकों का डेटा विश्लेषण किया जाएगा.

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बता दें कि 2021-22 के पहले टर्म की बोर्ड परीक्षा के नवंबर-दिसंबर महीने में होगी. इस टेस्ट की अवधि 90 मिनट की होगी जिसमें रीज़निंग से जुड़े बहु-विकल्पीय प्रश्न पूछे जाएंगे. इस टेस्ट में 50 फीसदी सिलेबस से प्रश्न पूछे जाएंगे. सीबीएसई परीक्षा से जुड़े प्रश्नपत्रों को स्कूल भेजेगा और ये भी बताएगा कि नंबर किस तरह दिए जाने हैं. इसके अलावा इम्तिहान ओएमआर शीट पर होंगे. इस पेपर में अर्जित अंक परीक्षार्थी के कुल अंक में जुड़ेंगे. 

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