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Janmashtami 2025: इस जन्माष्टमी कान्हा को लगाएं धनिये की पंजीरी और माखन का भोग, नोट करें विधि

Janmashtami 2025: जन्माष्टमी के दिन भोग की थाली में कई प्रकार की मिठाइयाँ और प्रसाद सजते हैं, लेकिन कुछ प्रसाद ऐसे हैं जिनका बहुत महत्व है. इनमें से एक है धनिया पंजीरी और दूसरा पंचामृत. धार्मिक मान्यता है कि भगवान श्रीकृष्ण को ये दोनों ही विशेष रूप से प्रिय हैं. धनिया पंजीरी को पचाने में हल्की मानी जाती है और पंचामृत पाँच पवित्र तत्वों का संगम है.

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जन्माष्टमी भोग (Photo: Ai Generated)
जन्माष्टमी भोग (Photo: Ai Generated)

Janmashtami 2025: भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को रोहिणी नक्षत्र में भगवान श्रीकृष्ण का जन्म हुआ था. इसलिए हर साल इस दिन पूरे देश में जन्माष्टमी का त्योहार बड़े ही धूमधाम से मनाया जाएता है. इस साल यह पावन पर्व शनिवार, 16 अगस्त को मनाया जाएगा. इस दिन श्रीकृष्ण के भक्त उपवास रखते हैं. रात्रि में भगवान का जन्मोत्सव मनाते हैं और अपने आराध्य को प्रिय भोग अर्पित करते हैं. कुछ लोग सामर्थ्य के अनुसार, भगवान को 56 भोग अर्पित करते हैं. तो कोई भगवान को धनिये की पंजीरी और माखन मिश्री प्रभु को अर्पित करतें.

धनिये की पंजीरी और माखन महत्व

जन्माष्टमी के दिन श्रीकृष्ण को चढ़ने वाले भोग की थाली में कई प्रकार की मिठाइयां और प्रसाद रखे जाते हैं. लेकिन इनमें धनिये की पंजीरी और माखन मिश्री के भोग का विशेष महत्व है. मान्यता है कि ये दोनों ही भोग भगवान श्रीकृष्ण को अत्यंत प्रिय हैं. माखन मिश्री को तो भगवान के बाल स्वरूप की लीलाओं से भी जोड़ा जाता है. इसलिए जन्माष्टमी पर जब इनका भोग लड्डू गोपाल को लगाया जाता है.

कैसे बनाएं धनिये की पंजीरी?

धनिया पंजीरी बनाने के लिए सबसे पहले ताजे धनिया बीज लें और उन्हें एक साफ कढ़ाई में मध्यम आंच पर बिना तेल के भूनें. भुने हुए बीजों को ठंडा होने दें. फिर मिक्सर में डालकर बारीक पीस लें. इसके बाद इसमें इसमें मिश्री और इलायची के दानें पीसकर अच्छी तरह मिला लें. ध्यान रहे कि इसमें बाजार में बिकने वाली दानेदार मिश्री का प्रयोग न करें. इसकी बजाए धागे वाली मिश्री की डली लाएं और उसे पीसकर पंजीरी और अन्य मीठे प्रसाद में इस्तेमाल करना अच्छा होता है.

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फिर एक पैन में शुद्ध घी गर्म करें और उसमें बादाम व काजू के टुकड़ों को हल्का सुनहरा होने तक भूनें. इसमें धनिया का मिश्रण, मिश्री और इलायची का पाउडर डालें. चाहें तो कुछ केसर के रेशे भी डाल सकते हैं, जिससे रंग और खुशबू दोनों बढ़ेंगे. अब धीमी आंच पर 2-3 मिनट भूनने के बाद इसे ठंडा करें और फिर भक्ति भाव से लड्डू गोपाल को अर्पित करें.

माखन मिश्री बनाने की विधि
जन्माष्टमी पर माखन बनाने के लिए पहले एक पात्र में फ्रेश मलाई लें और फिर उसमें कुछ बर्फ के टुकड़े डालकर करीब 5 मिनट तक अच्छे तरह फेंट लें. थोड़ी देर में ही मक्खन बनकर तैयार हो जाएगा. अब इस मक्खन को किसी दूसरे बर्तन में निकाल लें और एक बार फिर हल्के हाथों से फेंटना शुरू करें. ताकि मक्खन सॉफ्ट हो जाए. इसके बाद इसमें केसर के रेशे और धागे वाली डली को पीसकर बनाए पाउडर मिक्स कर दें. इस तरह कन्हैया का पसंदीदा माखन मिश्री बनकर तैयार हो जाएगा.

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