पूरे भारत में मशहूर योग गुरु बाबा रामदेव हमेशा से ही आयुर्वेद औरआयुर्वेदिक दवाओं का समर्थन करते आए हैं. वह आयुर्वेद का ना केवल समर्थन करते हैं, बल्कि जड़ी-बूटियों का इस्तेमाल कर कई तरह की बीमारियों का इलाज भी बताते हैं. वह देसी चीजों का समर्थन करते हैं और दूध-दही जैसी चीजों को खाने की सलाह भी देते हैं. इसी क्रम में हाल ही में बाबा रामदेव को गाय-भैंस का नहीं बल्कि गधी का दूध निकालते हुए दिखे. बता दें, वह दूध निकालने के साथ ही गधी के दूध के चमत्कारी फायदे भी बताते दिखे. उनका यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.
बाबा रामदेव ने खुद शेयर किया वीडियो
बाबा रामदेव ने पतंजलि योगपीठ में अपने कामकाज के दौरान गधी का दूध निकाला और उसके लाभ गिनाए. योग गुरु के अनुसार, गधी का दूध स्वादिष्ट होने के साथ ही आपके डाइजेस्टिव सिस्टम को भी दुरुस्त रखने में लाभकारी है. वीडियो में बाबा रामदेव को कहते सुना जा सकता है कि वह अपनी जिंदगी में गधी का दूध पहली बार निकाल रहे हैं.
वह बोले, 'गाय, बकरी, भेड़ और ऊंटनी का दूध तो मैंने पहले भी निकाला है, लेकिन गधी का दूध मैं पहली बार निकाल रहा हूं. इसका दूध सुपर टॉनिक भी है और सौंदर्य दोनों के लिए फायदेमंद है.' बाबा रामदेव जिस गधी का दूध निकाल रहे हैं उसका नाम वैशाख नंदिनी है.
बाबा रामदेव के पास खड़े डॉक्टर ने बताया कि इस दूध के अंदर दो ऐसे कंपाउंड पाए जाते हैं, जो और दूध में कम पाए जाते हैं. इनमें से एक लेक्टोफेरिन कंपाउंड है और दूसरे गुड बैक्टीरिया हैं. जहां लेक्टोफेरिन कंपाउंड एक बहुत ही अच्छा एंटीऑक्सिडेंट है, वहीं गुड बैक्टीरिया ना केवल एक बढ़िया एंटीऑक्सिडेंट है बल्कि एंटी एजिंग में भी प्रभावी है.
पोषक तत्वों से भरपूर है गधी का दूध
गधी के दूध में बहुत से पोषक तत्व होते हैं, जिनमें विटामिन ए, विटामिन डी, कैल्शियम और पोटेशियम का नाम भी शामिल है. ये सभी विटामिन और मिनरल्स आपकी बॉडी की ओवरऑल हेल्थ के साथ ही हड्डियों को मजबूत करने में, इम्यून सिस्टम को दुरुस्त करने में और आंखों की रोशनी बढ़ाने का काम करते हैं.
बाबा रामदेव ने खुलासा किया कि गधी के दूध को ब्यूटी प्रोडक्ट्स में भी इस्तेमाल किया जाता है. दरअसल, यह स्किन के लिए भी बहुत फायदेमंद होता है. योग गुरु ने वीडियो में यह भी बताया कि इस दूध को मिस्र की सबसे खूबसूरत रानी क्लियोपेट्रा भी इस्तेमाल करती थीं. क्लियोपेट्रा अपनी खूबसूरती को बढ़ाने के लिए गधी के दूध और दही से नहाती थीं.