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तेज हुआ दिल्ली सरकार का भिखारी विरोधी अभियान

इस साल अक्‍टूबर में होने वाले राष्ट्रमण्डल खेलों से पहले राजधानी को भिखारी मुक्त बनाने की दिल्ली सरकार की योजना में अब तेजी दिखाई देने लगी है.

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इस साल अक्‍टूबर में होने वाले राष्ट्रमण्डल खेलों से पहले राजधानी को भिखारी मुक्त बनाने की दिल्ली सरकार की योजना में अब तेजी दिखाई देने लगी है. इस संबंध में राज्य सरकार ने प्रमुख धार्मिक स्थलों के अधिकारियों से परिसर के बाहर भिखारियों को जगह न देने का आदेश दिया है.

समाज कल्याण विभाग की ओर से मध्य और दक्षिण दिल्ली के प्रमुख धार्मिक स्थलों को जारी निर्देश में कहा गया है कि सभी धार्मिक स्थल अपने परिसरों के बाहर भिखारियों को पनपने न दें, विशेषतौर पर राष्ट्रमण्डल खेलों के दौरान बिल्कुल भी नहीं. विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, ‘हमने सख्त हिदायत देते हुए उनसे अपने आस पास भिखारियों को इजाजत नहीं देने को कहा है.’

उल्लेखनीय है कि इस मुहिम में विभाग ने 12 स्थानों को ‘जीरो टॉलरेंस’ ज़ोन घोषित किया है और साथ ही इन स्थानों पर भिखारियों की धरपकड़ के लिए वाहनों की संख्या बढाने का फैसला किया है. इन 12 स्थानों में इण्डिया गेट, लाजपत नगर, नयी दिल्ली रेलवे स्टेशन, वीवीआईपी क्षेत्र, भैरो मार्ग, डिफेंस कॉलोनी, पटेल नगर और सरोजनी नगर शामिल हैं.

गौरतलब है कि सरकार ने भिखारियों के विरुद्ध अपने अभियान में पिछले साल एक नियंत्रण कक्ष के साथ साथ 12 मोबाइल कोर्ट भी स्थापित किए थे. आंकड़ों के अनुसार राजधानी में करीब 60 हजार भिखारी हैं.

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