केरल के पलक्कड़ जिले में छत्तीसगढ़ के प्रवासी मजदूर रामनारायण बघेल की हत्या की घटना ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है. रामनारायण बघेल, छत्तीसगढ़ के सक्ती जिले के हसौद तहसील अंतर्गत करही गांव के निवासी थे. 17 दिसंबर को उन्हें कथित तौर पर बांग्लादेशी नागरिक समझकर भीड़ ने बेरहमी से पीट-पीटकर मौत के घाट उतार दिया.
इस दर्दनाक घटना पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने गहरा शोक और संवेदना व्यक्त की है. मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से जारी बयान में कहा गया कि किसी भी निर्दोष नागरिक के खिलाफ हिंसा एक सभ्य समाज के मूल्यों के खिलाफ है और यह पूरी मानवता पर एक कलंक है. मुख्यमंत्री ने इस घटना को अत्यंत पीड़ादायक बताते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार पूरी संवेदनशीलता के साथ पीड़ित परिवार के साथ खड़ी है.
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मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने मृतक के परिजनों को पांच लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की है. इसके साथ ही सरकार की ओर से मृतक के परिवार के सदस्यों को तुरंत केरल भेजने की व्यवस्था भी की गई है. मुख्यमंत्री के निर्देश पर रामनारायण बघेल के पार्थिव शरीर को पूरे सम्मान के साथ उनके पैतृक गांव लाने के लिए सभी आवश्यक इंतजाम किए गए हैं. पार्थिव शरीर को हवाई मार्ग से छत्तीसगढ़ लाया जाएगा.
सीएम पिनरई विजयन ने घटना की निंदा की
इस बीच, केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने भी इस जघन्य घटना पर सख्त रुख अपनाते हुए राज्य सरकार से इसमें शामिल सभी आरोपियों के खिलाफ कठोरतम कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित करने को कहा है, ताकि भविष्य में इस तरह की अमानवीय घटनाएं दोबारा न हो.
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पांच आरोपियों को किया गया अरेस्ट
केरल पुलिस के अनुसार, मामले में हत्या का केस दर्ज कर लिया गया है. जिला पुलिस प्रमुख अजीत कुमार ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि इस मामले में अब तक पांच मुख्य आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है और जांच जारी है. पुलिस का कहना है कि घटना के हर पहलू की गंभीरता से जांच की जा रही है.