चीन के साथ ट्रेड टेंशन के बीच शी जिनपिंग से मिलेंगे डोनाल्ड ट्रंप... चर्चा के केंद्र में होगा अमेरिकी 'सोयाबीन'

ट्रंप के टैरिफ के जबाव में चीन ने अमेरिकी सोयाबीन की खरीद रोक दी है. बीजिंग के इस कदम से अमेरिकी किसान काफी हद तक प्रभावित हो रहे हैं. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप चार सप्ताह में अपने चीनी समकक्ष शी जिनपिंग से मुलाकात करने वाले हैं. जिनपिंग के साथ इस बैठक में ट्रंप सोयाबीन के मुद्दे को सुलझाने की कोशिश करेंगे.

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अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (L) और उनके चीनी समकक्ष शी जिनपिंग. (File Photo: Reuters) अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (L) और उनके चीनी समकक्ष शी जिनपिंग. (File Photo: Reuters)

aajtak.in

  • वॉशिंगटन,
  • 02 अक्टूबर 2025,
  • अपडेटेड 9:56 AM IST

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बुधवार को कहा कि वह चार हफ्ते के अंदर चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मुलाकात करेंगे. अमेरिका-चीन ट्रेड टेंशन के बीच यह बैठक होगी, जिसमें सोयाबीन प्रमुख चर्चा का विषय बनेगा. ट्रंप ने ट्रुथ सोशल (Truth Social) पर एक पोस्ट में अमेरिकी सोयाबीन किसानों को चीन के खरीद बंद करने से हो रहे नुकसान का जिक्र किया.

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उन्होंने चीन पर टैरिफ और ट्रेड के मुद्दे पर अमेरिका के साथ वार्ता के बहाने सोयाबीन की खरीद रोकने का आरोप लगाया. ट्रंप ने अपने पोस्ट में लिखा, 'हमारे देश के सोयाबीन किसान इसलिए प्रभावित हो रहे हैं क्योंकि चीन हमारे साथ ट्रेड और टैरिफ पर बार्गेनिंग के लिए सोयाबीन की खरीदारी नहीं कर रहा.' उन्होंने कहा कि टैरिफ से प्राप्त राजस्व का एक हिस्सा किसानों की मदद के लिए खर्च किया जाएगा.

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डोनाल्ड ट्रंप ने अपने पूर्ववर्ती जो बाइडेन की भी आलोचना की और आरोप लगाया कि उन्होंने चीन के साथ हुए व्यापार समझौते को लागू नहीं किया, जिसमें चीन को अरबों डॉलर के अमेरिकी कृषि उत्पाद खरीदने थे. अमेरिकी राष्ट्रपति ने किसानों को आश्वासन दिया कि सोयाबीन और अन्य फसलें उनकी शी जिनपिंग के साथ बैठक में 'प्रमुख चर्चा का विषय' होंगी और 'सब कुछ बहुत अच्छा हो जाएगा'.

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चीनी आयात पर टैरिफ रेट 55% है

ट्रंप और जिनपिंग की यह बैठक अमेरिका-चीन के बीच बढ़ते ट्रेड टेंशन की पृष्ठभूमि में हो रही है. राष्ट्रपति ट्रंप ने चीनी आयात पर टैरिफ 145 प्रतिशत तक बढ़ा दिया था, जिसके जवाब में चीन ने अमेरिकी उत्पादों पर भारी टैरिफ और निर्यात पर नियंत्रण लगाए. मई में बातचीत के बाद दोनों पक्षों ने टैरिफ में कुछ ढील दी. अमेरिका ने अधिकांश बेसलाइन टैरिफ को 30 प्रतिशत कर दिया, लेकिन फेंटेनिल से जुड़े और रेसिप्रोकल टैरिफ बरकरार रखे. वर्तमान में चीनी आयात पर अमेरिकी टैरिफ रेट 55 प्रतिशत के आसपास है. ट्रंप प्रशासन ने वर्तमान टैरिफ रेट को 'यथास्थिति' करार दिया है. 

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'ट्रंप टैरिफ' पर चीन का पलटवार

ट्रंप के टैरिफ पर चीन के प्रमुख जवाबी कदमों में से एक अमेरिकी कृषि उत्पादों, विशेष रूप से सोयाबीन की खरीद कम करना रहा है. सोयाबीन अमेरिकी कृषि निर्यात का केंद्र है. रिपोर्ट्स के अनुसार, चीन ने अप्रैल 2025 से अमेरिकी सोयाबीन की कोई खरीद नहीं की है. यूएसडीए  (United States Department of Agriculture) के डेटा के मुताबिक, 2025 के पहले 7 महीनों में चीन को अमेरिकी कृषि निर्यात 53 प्रतिशत गिर गया, जिसमें सोयाबीन सबसे अधिक प्रभावित है.

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चीन ने ब्राजील और अर्जेंटीना जैसे लैटिन अमेरिकी देशों से सोयाबीन खरीद बढ़ा दी है. ट्रेड एक्सपर्ट्स का मानना है कि एशिया-प्रशांत आर्थिक सहयोग (Asia-Pacific Economic Cooperation) शिखर सम्मेलन के इतर दक्षिण कोरिया में होने वाली ट्रंप और जिनपिंग की इस बैठक से चीन और अमेरिका के बीच ट्रेड डील की दिशा में प्रगति हो सकती है.
 

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