बॉलीवुड के 'बादशाह' खान यानी शाहरुख 5 साल बाद हीरो के रोल में स्क्रीन पर धमाका मचाने आ रहे हैं. उनकी अगली फिल्म 'पठान' का इंतजार जनता को सबसे ज्यादा इसीलिए है. ऊपर से कमाल ये है कि शाहरुख पहली बार स्क्रीन पर धमाकेदार एक्शन करने वाले हैं. उनके साथ लीड में दीपिका पादुकोण हैं और विलेन बने हैं जॉन अब्राहम. 25 जनवरी 2023 तक 'पठान' का इंतजार करने के लिए जनता के पास इतनी वजहें पर्याप्त थीं, लेकिन अब मामला थोडा फीका पड़ रहा है.
थोड़ा पीछे चलकर देखें, जब पठान से पोस्टर के अलावा कुछ भी सामने नहीं आया था, तो जनता में फिल्म को लेकर काफी माहौल बना हुआ था. अब तक फिल्म का टीजर और दो गाने सामने आ चुके हैं. सोशल मीडिया पर फिल्म को लेकर तमाम तरह के चर्चे और विवाद हैं. लेकिन इन सब के बीच जो एक बात अब महसूस हो रही है वो ये कि 'पठान' का भौकाल, जितना जोरदार आज से दो महीने पहले लग रहा था, आज उतना नहीं लग रहा. इसकी वजह हैं फिल्म के दोनों गाने.
टीजर से बना था जोरदार माहौल
'पठान' के टीजर में शाहरुख की एंट्री को जितना एलिवेशन या हाइप दिया गया था, उससे फैन्स का इंतजार सफल हो गया था. शाहरुख जितने समय बड़े पर्दे से गायब रहे हैं, उस बीच उनका नाम कई विवादों से भी जुड़ा, जिनमें उनके बेटे आर्यन खान से जुड़ा एक चर्चित केस भी है. उस दौर में सोशल मीडिया पर खूब ट्रोल हो चुके शाहरुख ने इन सब बातों पर कभी पब्लिकली कुछ नहीं कहा.
लेकिन 'पठान' के टीजर में जब मार खाकर खूनम-खून नजर आ रहे शाहरुख का डायलॉग 'जिंदा है...' सुनाई दिया, तो फिल्म के लिए परफेक्ट माहौल बन गया. 'पठान' का टीजर 2 नवंबर को आया था, यानी फिल्म की रिलीज डेट से ऑलमोस्ट ढाई महीने पहले. जनता 'पठान' की और झलक देखने की भूख लिए ये ढाई महीने आराम से काट लेती. लेकिन फिर आ गए पठान के गाने!
विवाद से चला 'बेशर्म रंग'
शाहरुख और दीपिका की जोरदार केमिस्ट्री वाला, 'पठान' का पहला गाना 'बेशर्म रंग' 12 दिसंबर को आया. इस गाने में दीपिका बहुत दिन बाद एक अल्ट्रा-ग्लैमरस अवतार में दिखीं और शाहरुख भी ऐब्स वगैरह बनाए भरपूर जलवाफरोश थे. लेकिन माहौल में मट्ठा डालने का काम किया गाने से जुड़े विवाद ने. 2 मिनट के लिए 'बेशर्म रंग' में दीपिका के कपड़ों का रंग और सोशल मीडिया पर उगा विवाद साइड रख कर देखें तो ये गाना असल में बहुत दमदार नहीं था.
'बेशर्म रंग' में न कुमार के लिखे लिरिक्स कुछ नयापन लिए हुए हैं, न ही विशाल-शेखर का म्यूजिक. बल्कि ये कहना भी ठीक रहेगा कि विवाद न होता तो 'बेशर्म रंग' शायद इतना पॉपुलर न हुआ होता और अभी तक 100 मिलियन पार न पहुंचा होता. वैसे भी अब हिंदी म्यूजिक के सीन में व्यूज और लाइक्स से गानों का स्वाद बता पाना नामुमकिन हो चुका है.
ठंडा निकला 'झूमे जो पठान'
'पठान' के एल्बम का दूसरा गाना 'झूमे जो पठान' 22 दिसंबर को आया और फिल्म से सच में अच्छे गाने की उम्मीद लगा रहे फैन्स को फिर कुछ खास हाथ नहीं लगा. 'वॉर' में विशाल शेखर ने पहले से पॉपुलर हो चुके लिरिक्स 'घुंघरू टूट गए' को भले नए फ्लेवर का तड़का मर के चला दिया हो, लेकिन 'झूमे जो पठान' में कोई ऐसा हुक नहीं है, जिसे आप गुनगुनाते रहें या बार-बार सुनना चाहें.
'पठान' के दोनों गाने 'टाइगर जिंदा है' के गाने 'स्वैग से करेंगे सबका स्वाग' की याद बहुत ज्यादा दिलाते हैं. और ये भी एक कमाल है कि दोनों गानों को सुनकर सबसे ज्यादा याद भी वही गाने आते हैं जो 'पठान' के प्रोड्यूसर्स यश राज फिल्म्स की पिछली फिल्मों से हैं. ऐसा लगता है कि सारे गाने एक तयशुदा टेम्पलेट में बनाए जा रहे हैं, या बनवाए जा रहे हैं.
ऊपर से 'पठान' के दोनों गानों में एक पुरानी बीमारी नजर आ रही है. फिल्म के हीरो ने बॉडी बना ली है और लुक्स से कहर ढाने वाला है, ये बताने के लिए बार-बार हिरोइन को हीरो पर पोल डांस करवाने की क्या जरूरत है! ऊपर से बॉलीवुड के फिल्ममेकर्स को ये सबक लेने की जरूरत है कि जासूस या एजेंट टाइप के फीमेल किरदारों से भी लोग एक्शन की उम्मीद ज्यादा करते हैं. उन्हें सिर्फ हीरो की सजावट के लिए और 'दुश्मन को सिड्यूस कर के जानकारी निकलवाने' के लिए फिल्मों में नहीं रखा जाना चाहिए. दुनिया के सबसे पॉपुलर स्पाई किरदारों में से एक जेम्स बॉन्ड की आखिरी फिल्म के फीमेल किरदार इस मामले में दिलचस्प हैं, मेकर्स चाहें तो कम से कम उन्हीं से 'इंस्पिरेशन' ले लें.
'वॉर' में हीरोइन टेम्पलेट में कोई एक्ट्रेस नहीं थी, लेकिन टाइगर श्रॉफ और ऋतिक रोशन को देखकर ही जनता खुश थी, कारण था एक्शन. अगर 'पठान' में दीपिका जोरदार एक्शन करने वाली हैं, तो टीजर में पलक झपकते खो जाने वाले उनके एक सीन के अलावा, उनके स्टंट क्यों नहीं प्रमोट किए जा रहे? मेकर्स अगर गानों में फिल्म की झलक नहीं दिखाना चाहते, तो न दिखाएं. साउथ में तो अब बहुत फिल्मों के साथ यही हो रहा है. लेकिन फिर गाना तो दमदार होना चाहिए न!
'ट्रेलर' ही है इलाज
'पठान' पर जो भी विवाद या ट्रोलिंग चालू है, उससे हटके शाहरुख फैन्स और उन्हें स्क्रीन पर कुछ अच्छा करते देखने के लिए एक्साइटेड दर्शक, उस वजह का इंतजार कर रहे हैं जो उन्हें थिएटर्स तक ले जाए. ये वजह सिर्फ 'पठान' का सॉलिड ट्रेलर ही दे सकता है. 'पठान' में शाहरुख का कमबैक और उनका एक्शन-रेडी अवतार एक्साइटिंग तो है, लेकिन भरपूर नहीं. अब जनता नकली ही सही, लेकिन कहानी खोजती है. इसके लिए फिल्म की रिलीज तक लगातार हर हफ्ते फिल्म से कोई ऐसा प्रोमो या ऐसे क्लिप चाहिए जो माहौल में शाहरुख की गर्मी बनाए रखे. वरना इस साल की शुरुआत से ही 'पठान' के लिए जो माहौल बन रहा है वो जल्द ही फीका पड़ने लगेगा.
सिर्फ फिल्म के स्टार को देखने की एक्साइटमेंट में ऐसा भी हुआ है कि फिल्म ने पहले दिन कमाई का रिकॉर्ड बनाया है और फिर भी फ्लॉप रही है, जैसे- ठग्स ऑफ हिन्दोस्तान. और ऐसा भी हुआ है कि बिना किसी लीड एक्ट्रेस वाली फिल्म ने सिर्फ दो हीरोज के एक्शन के भरोसे रिकॉर्ड तोड़ ओपनिग भी की है और 300 करोड़ भी कमाए हैं, जैसे- वॉर.
अब ये देखना दिलचस्प होगा कि 'पठान' के मेकर्स अगला दांव क्या खेलते हैं और फिल्म में गानों का क्या हिसाब होगा. अगर 'पठान' के गाने ट्रेडिशनल बॉलीवुड स्टाइल में कहानी की स्पीड को तोड़ते हुए लगे, तो मामला संगीन हो जाएगा. अभी तक 35 से 40 करोड़ रुपये की ओपनिंग लेती दिख रही 'पठान' को जोरदार बनाने के लिए सबसे जरूरी चीज सिर्फ और सिर्फ दमदार ट्रेलर है.