पंजाब में कोरोना पॉजिटिव मरीजों का आंकड़ा बढ़ता जा रहा है. इसके पीछे महाराष्ट्र के नांदेड़ स्थित श्री हजूर साहिब गुरुद्वारे में फंसे श्रद्धालु माने जा रहे हैं. आनन-फानन में पंजाब सरकार ने इन्हें वापस लाने का फैसला तो ले लिया, लेकिन ये नहीं सोचा कि इतनी भारी तादाद में जब श्रद्धालु वापस आएंगे तो उन्हें किस तरह से क्वॉरेंटाइन में रखा जाएगा और उनकी जांच कैसे होगी.
अमृतसर के सिविल सर्जन जुगल किशोर शर्मा ने बताया कि नांदेड़ से पंजाब में अब तक करीब ढाई हजार के आसपास श्रद्धालु पहुंच चुके हैं. इनमें 87 लोग अब तक कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं, जिसमें 23 अमृतसर से हैं. अभी भी इनमें से करीब एक हजार से ज्यादा श्रद्धालु बचे हैं, जिनका कोरोना टेस्ट किया जाना बाकी है.
वहीं, इस पूरे मामले में अमृतसर से कांग्रेस सांसद गुरजीत सिंह औजला का कहना है कि पंजाब के लिए ये मुश्किल वक्त है और अभी आने वाले दिन और भी मुश्किल भरे हो सकते हैं. हालांकि पंजाब सरकार का हेल्थ डिपार्टमेंट अपने स्तर पर कोरोना को काबू करने की कोशिश कर रहा है.
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नांदेड़ से लौट रहे श्रद्धालुओं में कोरोना पॉजिटिव मामले सामने आने के बाद पंजाब सरकार ने भी तय कर दिया है कि जो भी श्रद्धालु, अन्य राज्यों में फंसे छात्र या कोई भी व्यक्ति अगर बाहर से राज्य में आता है तो उसे 21 दिन के लिए क्वॉरेंटाइन में रहना होगा. बुधवार रात अमृतसर में नांदेड़ से 6 बसों में पहुंचे श्रद्धालुओं को क्वारनटीन में भेजने के निर्देश दिए गए थे.