ब्रिटेन के प्रधानमंत्री किएर स्टार्मर बुधवार को दो दिवसीय दौरे पर भारत पहुंचे हैं. स्टार्मर ने मुंबई में लैंड किया और गुरुवार को वो राज भवन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात करेंगे जिस दौरान व्यापार बढ़ाने पर बातचीत होगी. भारत रवाना होने से पहले स्टार्मर ने हालांकि, वीजा में ढील देने के मुद्दे पर नकारात्मक रुख अपनाया है. उन्होंने साफ कर दिया है कि ब्रिटेन भारत के साथ किसी भी तरह के वीजा से जुड़े समझौते पर विचार नहीं करेगा.
स्टार्मर ने कहा कि ब्रिटेन भारत के साथ हाल ही में हुए व्यापार समझौते के बाद आर्थिक संबंधों को मजबूत करने की कोशिश कर रहा है लेकिन वो वीजा से जुड़े किसी भी मुद्दे पर कोई डील नहीं करेगा.
स्टार्मर ब्रिटेन के कारोबारी प्रतिनिधिमंडल के साथ भारत पहुंचे हैं जिनका मकसद भारत-ब्रिटेन के बीच इसी साल जुलाई में हुए व्यापार समझौते के अवसरों को बढ़ाना है. यह समझौता अगले साल लागू होने वाला है.
समाचार एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक, भारत के लिए फ्लाइट लेने से ठीक पहले पत्रकारों ने स्टार्मर से सवाल किया कि क्या वीजा पर फिर से बातचीत शुरू की जाएगी, तो उन्होंने जवाब दिया, 'वीजा पर बात करना हमारी प्लानिंग का हिस्सा नहीं है. इस यात्रा का मकसद उस मुक्त व्यापार समझौते का फायदा उठाना है जो हम पहले ही कर चुके हैं. कंपनियां इसका फायदा उठा रही हैं. हम वीजा के मुद्दे पर बात करने नहीं जा रहे हैं.'
उन्होंने बताया कि वीजा को लेकर दोनों देशों में मतभेद थे और व्यापार समझौते में वो आड़े आ रहे थे. लेकिन फिर दोनों देशों ने वीजा मुद्दे को अलग रखा और व्यापार समझौते को अंतिम रूप दे दिया गया. ब्रिटिश पीएम ने कहा कि ऐसे में अब जब वो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलेंगे तो वीजा के मुद्दे को दोबारा नहीं उठाएंगे.
वीजा को लेकर स्टार्मर का यह रुख ऐसे वक्त में सामने आया है जब उनकी सरकार घरेलू दबाव में इमिग्रेशन यानी विदेशों से ब्रिटेन आकर बसने वाले लोगों के लिए सख्त रुख अपनाने की कोशिश कर रही है.
ब्रिटेन में इमिग्रेशन का मुद्दा वोटर्स के लिए अहम बन चुका है. स्टार्मर की लेबर पार्टी धीरे-धीरे लोकप्रियता खो रही है और Reform UK पार्टी इमिग्रेशन को अपना मुख्य चुनावी मुद्दा बनाकर वोट बैंक मजबूत कर रही है.
जब स्टार्मर से पूछा गया कि क्या वो भारतीय टेक प्रोफेशनल्स को देश में बुलाने के लिए वीजा नियमों में ढील देंगे, खासकर तब जब डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिका में H-1B वीजा की फीस बढ़ा दी है. स्टार्मर ने जवाब में कहा कि 'वीजा बातचीत में शामिल नहीं होगा.' हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि ब्रिटेन दुनिया भर से 'टॉप टैलेंट' को आकर्षित करना चाहता है.
इसी तरह जब उनसे ये सवाल पूछा गया कि क्या ब्रिटेन उन देशों के नागरिकों के वीजा पर रोक लगाएगा जो अपने निर्वासित नागरिकों या अपराधियों को वापस लेने से इनकार करते हैं, तो स्टारमर ने कहा कि भारत के साथ यह 'मुद्दा ही नहीं' है क्योंकि भारत के साथ वापसी समझौता पहले से मौजूद है. हालांकि उन्होंने यह जरूर कहा कि हम इस बात पर विचार कर रहे हैं कि वीजा और वापसी समझौते को आपस में जोड़ा जाए या नहीं.'