
उत्तर प्रदेश के महोबा जिले में पहाड़ पर खनन के दौरान बड़ा हादसा हो गया. इस हादसे में चार लोगों की मौत हो गई. जबकि, कई मजदूर घायल हो गए. मलबे में दबे लोगों को पुलिस-प्रशासन की टीम ने कड़ी मशक्कत के बाद बाहर निकाला है. घायलों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती करवाया गया है, जहां उनका इलाज चल रहा है. इस दर्दनाक हादसे को लेकर सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शोक संवेदना व्यक्त की है.
बता दें कि उत्तर प्रदेश में पत्थर मंडी के नाम से चर्चित कबरई में यह दर्दनाक हादसा हुआ है. जानकारी के मुताबिक, यहां के पहरा गांव में डीआरएस पहाड़ का पट्टा धनराज सिंह के नाम पर है. इस पहाड़ पर आज तकरीबन एक दर्जन से अधिक मजदूर खनन कार्य पर लगे हुए थे. पहाड़ पर होने वाले विस्फोट के लिए मजदूरों द्वारा होल करने का काम किया जा रहा था. तभी अचानक पहाड़ का एक हिस्सा भर-भराकर 500 फीट गहरी खदान में जा गिरा.

जैसे ही पहाड़ का हिस्सा गिरा मजदूरों में अफरा तफरी मच गई. इससे पहले मजदूर कुछ समझ पाते अचानक गिरे पहाड़ के मलबे के नीचे कई मजदूर दब गए. पहाड़ पर खनन के दौरान हुए हादसे की सूचना मिलते ही मजदूरों के परिजनों में कोहराम मच गया और देखते ही देखते पूरा गांव पहाड़ के आसपास इकट्ठा हो गया. हादसे के बाद से पहाड़ खनन संचालक मौके से फरार बताया जा रहा है.

वहीं, सूचना मिलते ही जिले के डीएम मृदुल चौधरी, एसपी अपर्णा गुप्ता सहित मंडल के कमिश्नर और आईजी मौके पर पहुंच गए. इस दर्दनाक हादसे को लेकर चार थानों की पुलिस सहित फायर ब्रिगेड की टीम रेस्क्यू ऑपरेशन में जुट गई. चार मजदूरों राममिलन कुशवाहा, रामफूल, प्यारे और कुलदीप के शव को मलबे के नीचे से निकाला गया है. जबकि, दो अन्य मजदूर कैलाश और धीरू को गंभीर व्यवस्था में अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक भारी पुलिस के साथ घटनास्थल पर मौजूद हैं. उन्होंने बताया कि हादसे के कारणों की जांच के लिए टीम गठित कर दी गई है. एहतियातन अभी भी पहाड़ पर रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. काम भी रोक दिया गया है. मृतक मजदूरों के परिजनों को शासन और प्रशासन द्वारा हर संभव मदद दिलाने की बात जिलाधिकारी ने कही है.
इस दर्दनाक हादसे को लेकर सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शोक संवेदना व्यक्त की है. उन्होंने पीड़ित परिवार को हर संभव मदद का भरोसा भी दिया है.
हादसे के वक्त मौजूद प्रत्यक्षदर्शी नीरज ने बताया कि सभी मजदूर रोजाना की तरह पहाड़ पर मजदूरी का काम कर रहे थे. पहाड़ पर विस्फोट के लिए होल करते समय पहाड़ का एक हिस्सा अचानक भसककर खदान में गिरा, जिससे दर्दनाक हादसा हो गया. कई मजदूरों ने भाग कर अपनी जान बचा ली लेकिन चार लोगों की मौत हो गई और दो अस्पताल में भर्ती हैं. हादसे में एक पोकलेंड मशीन सहित तीन ट्रैक्टर मलबे में अभी भी दबे हुए है.