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#BalochGenocide... तालिबान, TLP के बाद अब बलूच! आखिर किस-किस से बचेगा पाक?

पाकिस्तान इस समय चारों ओर से संकट में घिरा हुआ है. तालिबान और तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (TTP) सीमा पर हमले कर रहे हैं, TLP जैसी धार्मिक पार्टियां भीतर अशांति फैला रही हैं, और अब बलूचिस्तान में लोग आजादी और मानवाधिकारों की मांग को लेकर विरोध कर रहे हैं.

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सोशल मीडिया पर #BalochGenocide ट्रेंड कर रहा है, जिसमें लोग पाक सरकार और सेना पर बलूचों के खिलाफ अत्याचार, गुमशुदगियों और हत्याओं के आरोप लगा रहे हैं.  ( Photo: Twitter/ @ayush9196)
सोशल मीडिया पर #BalochGenocide ट्रेंड कर रहा है, जिसमें लोग पाक सरकार और सेना पर बलूचों के खिलाफ अत्याचार, गुमशुदगियों और हत्याओं के आरोप लगा रहे हैं.  ( Photo: Twitter/ @ayush9196)

पाकिस्तान लंबे समय से तालिबान से जूझ रहा है. कई बार आतंकी हमले या सीमा पर हिंसा के कारण तालिबान पाकिस्तान के लिए खतरा बना रहता है. TLP (Tehreek-e-Labbaik Pakistan)- यह पाकिस्तान की एक उग्र धार्मिक पार्टी है जो अक्सर धार्मिक मुद्दों पर हिंसक प्रदर्शन करती है. सरकार कई बार इसे काबू में नहीं कर पाती. पहले पाकिस्तान को तालिबान से खतरा था, फिर अपनी ही धार्मिक पार्टी TLP से, और अब बलूच लोग भी सरकार के खिलाफ खड़े हैं.

अफगानिस्तान में तालिबान की वापसी के बाद, TTP यानी तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान ने पाकिस्तान के अंदर हमले तेज कर दिए हैं. TTP, पाकिस्तान में शरिया कानून लागू करना चाहती है और सरकार को “गैर-इस्लामी” कहकर निशाना बनाती है. इस वजह से पाकिस्तान की सेना को सीमा क्षेत्रों में लगातार हमले झेलने पड़ रहे हैं.

आर्थिक और राजनीतिक संकट
पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था लगभग दिवालिया स्थिति में है — IMF के कर्ज पर टिकी है. अंदरूनी राजनीति में इमरान खान की गिरफ्तारी और फौज और जनता के बीच टकराव ने अस्थिरता और बढ़ा दी है. आम जनता महंगाई और बेरोजगारी से त्रस्त है. इन सभी वजहों से पाकिस्तान आज एक तरह से चार तरफा युद्ध में फंसा है. अब बलूचिस्तान प्रांत में लोग लंबे समय से स्वतंत्रता और मानवाधिकारों की मांग कर रहे हैं.  कई बार सरकार पर बलूचों पर अत्याचार यानी #BalochGenocide का आरोप लगता है.

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#BalochGenocide कर रहा काफी ट्रेंड
सोशल मीडिया पर #BalochGenocide काफी ट्रेंड कर रहा है. इस ट्वीट के जरिए लोग न्याय की मांग कर रहे हैं. लोग पाकिस्तान सरकार और सुरक्षा बलों पर बलूचों के खिलाफ अत्याचार, गुमशुदगियों, हत्याओं और मानवाधिकार उल्लंघनों का आरोप लगा रहे हैं.  ट्वीट्स में बताया जा रहा है कि कैसे बलूच लोग शांतिपूर्ण विरोध कर रहे हैं, मार्च कर रहे हैं, लेकिन उन्हें पुलिस या अन्य अधिकारियों द्वारा प्रताड़ना झेलनी पड़ रही है.  

ये ट्वीट्स अंतरराष्ट्रीय संगठनों, संयुक्त राष्ट्र (UN), मानवाधिकार संगठनों आदि से अपील करते हैं कि बलूचिस्तान की स्थिति की जांच हो और कार्रवाई हो. कुछ लोग #RepublicOfBalochistan, #BalochistanIsNotPakistan जैसे अभियान/हैशटैग चला रहे हैं, जो बलूचिस्तान को पाकिस्तान से अलग राष्ट्र मानने की मांग करते हैं.

कई ट्वीट पर लोग सरकार पर लगा रहे आरोप
इसके अलावा भी कई ट्वीट वायरल हो रहे हैं- "Baloch mothers march with pictures, Not knowing if their sons live or lie buried."  पाकिस्तानी सेना/सरकार पर सीधे आरोप लगाते हुए, जैसे किडनैपिंग, गांव जलाना, मास ग्रेव्स. जैसे- Pakistan’s war on the Baloch is hidden behind walls and rooftops. Nishtar Hospital exposed the horror — 200 corpses, countless families destroyed. Pakistan army burned 100s of villages in #Balochistan, forcing mass evacuations." न्याय और वैश्विक ध्यान की मांग- दुनिया से चुप्पी तोड़ने की अपील, जैसे UN, HRW को लोग टैग कर रहे हैं. 

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अस्पताल की छत की फोटो हो रहे वायरल
हाल के ट्वीट्स, Nishtar अस्पताल की छत पर मिले 200 से अधिक सड़े-गले शवों की घटना पर केंद्रित हैं, जो तीन साल पहले की है. ये ट्वीट्स ज्यादातर भावुक, आक्रोशपूर्ण और न्याय की मांग करने वाले हैं. मुख्य ट्वीट्स में घटना का वर्णन और आंकड़े शेयर किए गए हैं. लोग Nishtar अस्पताल की घटना का जिक्र करते हैं, जहां 200+ बलूच लोगों के शव मिले थे.

ये शव किडनैप, टॉर्चर और डंप करने की कहानी बताते हैं.  लोगों से भावनात्मक अपील और पीड़ितों की कहानियां  मांओं, बहनों और परिवारों के दर्द पर फोकस है. जैसे- Mothers still wait for sons who never returned. The mountains of Balochistan echo with their cries unheard."

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