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फैक्ट चेक: देवघर में कांग्रेस कार्यालय से नहीं गिरफ्तार हुए नीट पेपर लीक के ये आरोपी

आजतक फैक्ट चेक ने पाया कि वायरल वीडियो में दिख रही बिल्डिंग देवघर कांग्रेस कार्यालय की नहीं बल्कि पटना के एलएनजेपी हॉस्पिटल की है. नीट पेपर लीक के आरोपियों को बिहार पुलिस ने देवघर के एक घर से अरेस्ट किया था जो कांग्रेस ऑफिस से काफी दूरी पर है.

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आजतक फैक्ट चेक

दावा
पुलिस ने नीट पेपर लीक मामले के छह आरोपियों को देवघर में कांग्रेस पार्टी के कार्यालय से गिरफ्तार किया जहां वो छिपे हुए थे
Social media users
सच्चाई
वीडियो में दिख रही बिल्डिंग देवघर में कांग्रेस कार्यालय की नहीं बल्कि पटना के एलएनजेपी हॉस्पिटल की है. नीट पेपर लीक के आरोपियों को बिहार पुलिस ने देवघर के एक घर से अरेस्ट किया था जो कांग्रेस ऑफिस से काफी दूरी पर है.

बिहार पुलिस की आर्थिक अपराध इकाई ने नीट पेपर लीक मामले में 21 जून को झारखंड के देवघर से छह लोगों को गिरफ्तार किया था. इसी के मद्देनजर सोशल मीडिया पर एक वीडियो के जरिये दावा किया जा रहा है कि पुलिस ने देवघर में जिस जगह से इन आरोपियों को गिरफ्तार किया था, वो कांग्रेस पार्टी का कार्यालय है, जहां ये छिपे हुए थे.

 

फैक्ट चेक

 

 

वायरल वीडियो में पुलिस की टीम को कुछ लोगों को हिरासत में लेकर एक बिल्डिंग से बाहर आते देखा जा सकता है. साथ में मीडिया का जमावड़ा भी है.

वीडियो को शेयर करते हुए एक यूजर ने कैप्शन में लिखा, “नीट पेपर झारखंड के आरोपी देवघर के कांग्रेस कार्यालय में छुपे हुए थे। वास्तव मे INDI गठबंधन के कई घटक प्रत्यक्ष अप्रत्यक्ष इस कुकृत्य में शामिल थे। पक्ष को इस प्रकार के षड्यन्त्रों से निपटने के लिये घटकों के शीर्ष नेतृत्व को भी आम जन मानस पर जैसी कार्यवाही करना आवश्यक है”. इन दावों के साथ यह वीडियो फेसबुक और एक्स पर सैकड़ों लोग शेयर कर चुके हैं.

 

आजतक फैक्ट चेक ने पाया कि वायरल वीडियो में दिख रही बिल्डिंग देवघर कांग्रेस कार्यालय की नहीं बल्कि पटना के एलएनजेपी हॉस्पिटल की है. नीट पेपर लीक के आरोपियों को बिहार पुलिस ने देवघर के एक घर से अरेस्ट किया था जो कांग्रेस ऑफिस से काफी दूरी पर है.

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कैसे पता की सच्चाई?

कीवर्ड्स की मदद से सर्च करने पर हमें पता चला कि वायरल वीडियो को न्यूज एजेंसी एएनआई ने 23 जून को एक्स पर शेयर किया था. वीडियो के साथ बताया गया है कि देवघर से नीट मामले में गिरफ्तार हुए छह आरोपियों को मेडिकल जांच के लिए पटना के एलएनजेपी अस्पताल लाया गया था.

 

 

गूगल मैप्स पर मौजूद एलएनजेपी अस्पताल की तस्वीरें भी वायरल वीडियो में दिख रही बिल्डिंग से मेल खाती हैं. यहां इस बात की पुष्टि हो जाती है कि वीडियो देवघर का नहीं, पटना का है.

 

फैक्ट चेक

 

देवघर में कहां से गिरफ्तार हुए थे आरोपी?

टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट में देवघर के एसडीपीओ ऋतिक श्रीवास्तव के हवाले से बताया गया है कि आरोपी कथित तौर पर झुन्नू सिंह नाम के व्यक्ति के घर पर छुपे हुए थे. यह घर देवघर के देवीपुर इलाके में स्थित एम्स अस्पताल के पास है.

 

इस मामले में दर्ज हुई एफआईआर में भी यह लिखा है कि आरोपियों को झुन्नू सिंह के फार्म हाउस से पकड़ा गया था. खबरों में व्यक्ति का नाम "झुन्नू" और "झुन्नी" दोनों लिखा गया है.

आजतक के देवघर संवाददाता शैलेंद्र मिश्रा ने इस मामले में झुन्नी सिंह से बात की. झुन्नी सिंह ने हमें बताया कि आरोपियों की गिरफ्तारी से उनका कोई संबंध नहीं है. झुन्नी का कहना है कि उनकी एम्स देवघर के पास एक छोटी खाने-पीने की दुकान है. जहां से आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है वो जगह इसी दुकान के पास में है. साथ ही, उन्होंने बताया कि इस मामले से उनका कोई लेना-देना नहीं है और वह किसी राजनीतिक पार्टी से नहीं जुड़े हैं.

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इसके अलावा गूगल मैप्स से पता चलता है कि एम्स देवघर की दूरी देवघर के बजरंगी चौक पर स्थित कांग्रेस कार्यालय से 12.5 किलोमीटर है.

हालांकि हम यहां स्वतंत्र रूप से इस बात की पुष्टि नहीं कर सकते कि झुन्नी सिंह किसी पार्टी से जुड़े हैं या नहीं. लेकिन यह बात स्पष्ट है कि इन आरोपियों को कांग्रेस के ऑफिस से गिरफ्तार नहीं किया गया था.

 

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