मायावती की बहुजन समाज पार्टी (BSP) ने गाजियाबाद लोकसभा सीट से अपना उम्मीदवार बदल लिया है. बसपा ने पहले इस सीट पर पहले अंशय कालरा को उम्मीदवार बनाया था लेकिन अब उनकी जगह नंदकिशोर पुंडीर को टिकट दे दिया है. पुंडीर राष्ट्रवादी जनलोक पार्टी से मुजफ्फरनगर सीट से अपनी पत्नी को चुनाव लड़ा चुके हैं. बाद में उन्होंने बसपा ज्वॉइन कर ली थी.
दरअसल भाजपा ने गाजियाबाद सीट पर अपने मौजूदा सांसद और केंद्रीय मंत्री जनरल वीके सिंह का टिकट काटकर उनकी जगह वैश्य समाज से आने वाले अतुल गर्ग को टिकट दिया है. दरअसल वीके सिंह का टिकट कटने का कई राजपूत संगठनों ने विरोध किया है. अब बसपा ने इसी को देखते हुए अपना उम्मीदवार बदला और पुंडीर के चेहरे पर दांव लगा दिया. इस सीट पर राजपूत वोटरों की संख्या ठीक-ठाक है.
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वीके सिंह को टिकट नहीं देने पर विरोध
आपको बता दें कि जनरल (सेवानिवृत्त) वीके सिंह की जगह मौजूदा विधायक अतुल कुमार गर्ग को लाने के पार्टी के फैसले से समुदाय खुश नहीं है. खबरें तो राजपूत बहुल इलाकों से गर्ग को खदेड़े जाने की भी आई हैं. समुदाय की स्थानीय इकाइयों ने भी पार्टी से राजपूत उम्मीदवार को हटाकर दूसरे समुदाय से प्रत्याशी को उतारने के कारणों का जवाब मांगा है. पार्टी ने माहौल को भांपते हुए स्थानीय राजपूतों को शांत करने और गर्ग के लिए समर्थन जुटाने के लिए क्षेत्र से सांसद रह चुके राजनाथ सिंह को यहां भेजने का फैसला किया है.
ऐसा है गाजियाबाद सीट पर वोटरों का समीकरण
राजनीतिक विश्लेषक और मानवविज्ञान रिसर्च स्कॉलर पुष्पेंद्र राणा के अनुसार, गाजियाबाद निर्वाचन क्षेत्र में लगभग 5.5 लाख मुस्लिम, 4.7 लाख राजपूत, 4.5 लाख ब्राह्मण, 2.5 लाख बनिया, 4.5 लाख एससी, 1.25 लाख जाट, एक लाख पंजाबी, 75,000 त्यागी, 70,000 गुर्जर हैं और पांच लाख अन्य शहरी समुदाय के मतदाता हैं.
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