सीबीएसई बोर्ड 10वीं के नतीजे जल्द आने वाले हैं. जल्द ही बोर्ड 12वीं के रिजल्ट भी जारी कर देगा. रिजल्ट की डेट से काफी पहले से ट्विटर पर छात्र मार्किंग और इवैल्यूएशन के लिए बेस्ट ऑफ ईदर टर्म्स सब्जेक्ट वाइज पॉलिसी की मांग कर रहे हैं.सीबीएसई की ओर से अभी तक इवैल्यूएशन पॉलिसी को लेकर कोई भी नोटिस न आने से छात्रों के मन से भय नहीं जा रहा है. छात्र यही सोच रहे हैं कि दो टर्म हुई परीक्षाओं में उनका मूल्यांकन किस आधार पर होगा.
जानिए- किस फार्मूले की मांग कर रहे छात्र
स्टूडेंट्स एक्टिविस्ट हिमांशु बोरा ने कहा कि स्टूडेंट्स की मांग है कि उनका इवैल्यूएशन बेस्ट ऑफ आइदर टर्म्स के हिसाब से होना चाहिए. इसके पीछे यह वजह है कि अब तक छात्रों ने अपने पांच सब्जेक्ट का करीब दस बार एग्जाम दिया है. वहीं टर्म वन और टर्म टू दोनों ही अलग अलग तरीके से हुए हैं. टर्म वन जहां ऑब्जेक्टिव बेस्ड था वहीं टर्म टू सब्जेक्टिव तरीके से लिया गया. अब छात्र चाहते हैं कि उन्हें वेटेज में वही नंबर दिए जाएं जो किसी एक टर्म में ज्यादा आए हों.
बता दें कि इस बार बोर्ड ने नेशनल एजुकेशन पॉलिसी लागू करते हुए, परीक्षाएं दो टर्म में कराई हैं. रिजल्ट को लेकर देश के विभिन्न हिस्सों में रह रहे छात्रों के मन की चिंता साफ देखी जा सकती है. गुजरात के छात्र मृत्युंजय कहते हैं कि हमें टर्म वन में जहां करीब 8 महीने मिले, वहीं दूसरे में चार महीने मिले, जिसमें प्री बोर्ड और प्रैक्टिकल वगैरह भी शामिल थे. वो कहते हैं कि सीबीएसई बोर्ड को यह भी समझना चाहिए कि कोरोना के दौरान बीते सालों में हमारी पढ़ाई काफी प्रभावित हुई है. छात्रों का यह भी तर्क है कि ऑनलाइन पढ़ाई से सभी छात्रों को उस तरह की गुणवत्तापूर्ण शिक्षा नहीं मिल पाई जितनी कि ऑफ लाइन क्लासेज में मिलती है.