आधार कार्ड जारी करने वाली संस्था UIDAI ने करीब 6 करोड़ बच्चों के लिए बड़ा तोहफा दिया है. अब 7 से 15 वर्ष की आयु के बच्चों के लिए आधार बायोमेट्रिक अपडेट के लिए सभी शुल्क माफ कर दिए गए हैं. यह छूट 1 अक्टूबर से प्रभावी हो गई है और एक साल तक यानी 1 अक्टूबर 2026 तक लागू रहेगी. यानी बच्चों के आधार को फ्री में अपडेट कराने का मौका 1 साल तक है.
पांच साल तक के बच्चों के लिए यह नियम इसलिए लागू नहीं है क्योंकि इन बच्चों के आधार कार्ड के लिए फिंगरप्रिंट और आईरिस स्कैन की आवश्यकता नहीं होती है. हालांकि 5 साल के बाद बायोमेट्रिक डेटा अपडेट कराने की आवश्यकता होती है. इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने कहा कि आधार में निःशुल्क बायोमेट्रिक अपडेट से बच्चों की शिक्षा, छात्रवृत्ति और डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (डीबीटी) योजनाओं तक पहुंच आसान होगी.
पहले क्या था नियम
अब तक बायोमेट्रिक अपडेट केवल खास चीजों के लिए ही निःशुल्क थे. पहले बायोमेट्रिक 5 से 7 वर्ष की आयु के बीच किए जाते हैं और दूसरे के लिए 15 से 17 वर्ष की आयु के बीच किए जाते हैं. इन आयु सीमाओं के बीच UIDAI प्रति अपडेट पर 125 रुपये का शुल्क लेता था.
नई नीति के साथ, UIDAI ने 7-15 आयु वर्ग के लिए इस शुल्क को पूरी तरह से समाप्त कर दिया है, जिससे यह सुनिश्चित हो सके कि जो बच्चे मूल निःशुल्क सुविधा से वंचित रह गए थे, वे अब भी बिना किसी वित्तीय बोझ के अपने आधार रिकॉर्ड को अपडेट कर सकते हैं.
यूआईडीएआई ने क्या कहा?
UIDAI ने 4 अक्टूबर को जारी एक अधिकारिक बयान में कहा कि आधार में बायोमेट्रिक अपडेअ यह तय करने के लिए आवश्यक है कि बच्चे स्कूल में एडमिशन, प्रवेश परीक्षा, छात्रवृत्ति और प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी) योजनाओं जैसी सेवाओं तक पहुंच बना सकें. आधार अपडेट प्रॉसेस में उंगलियों के निशान, आंखों की पुतलियों का स्कैन और एक नई तस्वीर लेना शामिल है.
पैरेंट्स से UIDAI की खास अपील
अपडेट आधार बच्चों के लिए इस पहचान प्रणाली की उपयोगिता को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ाता है. यूआईडीएआई ने सभी माता-पिता और अभिभावकों से आग्रह किया है कि वे छूट अवधि के भीतर अपने बच्चों के आधार रिकॉर्ड को अपडेट करा दें, ताकि आवश्यक सार्वजनिक सेवाओं तक उनकी निर्बाध पहुंच बन सके. गौरतलब है कि यूआईडीएआई ने बच्चों के लिए यह तोहफा दिवाली से ठीक पहले दिया है. यह UIDAI व्यापक जनहितकारी पहल का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य सरकारी सेवाओं तक आधार से जुड़ी पहुंच को सरल बनाना है.