
Fastag Annual Pass Explained: राष्ट्रीय राजमार्गों पर यात्रा को किफायती और सुगम बनाने के लिए बीते 18 जून को केंद्रीय सड़क परिवहन राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी फास्टैग एनुअल पास (FASTag Annual Pass) का ऐलान किया. ये एक सालाना पास है जिसके जरिए 3,000 रुपये के खर्च में पूरे साल या 200 ट्रिप्स तक की यात्रा की जा सकेगी. इसके अलावा इस एनुअल पास के कई और फायदे भी हैं जो यात्रा को बेहतर बनाएंगे. लेकिन क्या ये पास केवल प्राइवेट वाहनों के लिए है या इसका लाभ कमर्शियल वाहनों को भी मिलेगा, आइये विस्तार से समझते हैं फास्टैग एनुअल पास सिस्टम-
सबसे पहले तो यह जान लें कि, फास्टैग एनअुल पास कोई अलग से लगाए जाने वाला स्टीकर या डिवाइस नहीं है. बल्कि ये वाहनों पर मौजूदा फास्टैग पर ही एक्टिवेट किया जाने वाला एक सब्सक्रिप्शन बेस्ड प्लान है. जिसे 3,000 रुपये की फीस में एक साल या 200 ट्रिप्स के लिए एक्टिवेट किया जा सकेगा. फिलहाल इसे देश के कुछ चुनिंदा राजमार्गों जैसे नेशनल हाईवे (NH) और नेशनल एक्सप्रेस-वे (NE) पर ही लागू किया जाएगा, जहां इसकी सुविधा जल्द ही शुरू होने वाली है.

फास्टैग एनुअल पास आगामी 15 अगस्त 2025 से देश भर में लागू किए जाने की योजना है. इस सर्विस का लाभ उठाने के लिए यूजर्स को राजमार्ग यात्रा ऐप और NHAI / MoRTH की आधिकारिक वेबसाइट्स पर विजिट करना होगा जहां जल्द ही एक नया लिंक उपलब्ध कराया जाएगा. जिसके जरिए आप अपने फास्टैग पर एनुअल पास एक्टिवेट करा सकेंगे.
यहां ध्यान देना जरूरी है कि, एनुअल पास उन वाहनों पर एक्टिव नहीं होगा जिनका फास्टैग केवल चेसिस नंबर से रजिस्टर्ड है. ऐसे वाहन मालिकों को व्हीकल रजिस्ट्रेशन नंबर (VRN) को अपडेट करना अनिवार्य होगा, इसके बाद ही वो एनुअल पास के लिए आवेदन कर सकेंगे.
जैसा कि उपर बताया गया है कि, इस पास के जरिए केवल 200 ट्रिप्स की यात्रा की जा सकेगी, इसके लिए सरकार ने ट्रिप्स को काउंट करने के तरीके के बारे में भी बताया है. मंत्रालय के अनुसार, प्वाइंट बेस्ड फी प्लाजा पर हर टोल क्रॉस करने पर एक ट्रिप काउंट होगा. वहीं राउंड ट्रिप लगने पर इसे 2 ट्रिप माना जाएगा. क्लोज्ड टोलिंग फी प्लाजा पर एंट्री और एग्जिट दोनों को एक ही ट्रिप माना जाएगा.

नए फास्टैग एनुअल पास से भारी बचत की उम्मीद की जा रही है. एक अनुमान के मुताबिक पारंपरिक टोल शुल्क और मासिक पास के मुकाबले, यूजर्स प्रति वर्ष 1,000 रुपये से लेकर 7,000 रुपये तक की बचत कर सकते हैं. हालांकि, यह इस बात पर निर्भर करता है कि वे कितनी बार यात्रा करते हैं और कितनी दूरी तय करते हैं. यह राष्ट्रीय राजमार्गों का उपयोग करने वालों के लिए एक बड़ी बात है.
फिलहाल सरकार ने फास्टैग एनुअल पास को केवल प्राइवेट वाहनों के लिए ही शुरू किया है. केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने सोशल मीडिया पर शेयर किए गए अपने पोस्ट में कहा है कि, "यह पास केवल गैर-व्यावसायिक निजी वाहनों (कार, जीप, वैन आदि) के लिए विशेष रूप से तैयार किया गया है. इसमें व्यवसायिक वाहन शामिल नहीं हैं." कमर्शियल वाहन पहले की ही तरह फास्टैग टोल सिस्टम का उपयोग कर यात्रा जारी रखेंगे.
कमर्शियल वाहनों के लिए टोल की कीमतें कई कारणों के आधार पर अलग-अलग होती हैं. जिसमें वाहन का प्रकार (एक्सल की संख्या, आकार आदि), विशेष टोल प्लाजा और टोल रोड पर यात्रा की गई दूरी शामिल है. आम तौर पर, ट्रक और मल्टी-एक्सल वाहनों जैसे बड़े कमर्शियल वाहनों को हल्के कमर्शियल वाहनों की तुलना में अधिक भुगतान करना पड़ता है. इन वाहनों के लिए मासिक पास (Monthely Pass) भी जारी किया जाता है.

बता दें कि, फास्टैग एनुअल पास केवल नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) द्वारा संचालित टोल प्लाओं पर ही लागू होगा. ये पास स्टेट हाईवे, प्राइवेट-रन टोल रोड्स और स्टेट-रन एक्सप्रेस-वे पर लागू नहीं होगा. इन सड़कों पर यात्रा के दौरान मौजूदा टोल कलेक्शन सिस्टम ही फिलहाल लागू होगा. इसलिए अपने फास्टैग में बैलेंस रखना न भूलें.
नहीं, एनुअल पास प्रत्येक वाहन के फास्टैग पर ही जारी किया जाएगा. इसे केवल एक वाहन के लिए ही इस्तेमाल किया जा सकता है. इसके अलावा ये प्लान ट्रांसफर नहीं किया जा सकता है. हर फास्टैग वाहन के चेसिस और व्हीकल रजिस्ट्रेशन नंबर (VRN) पर ही जारी किया जाता है. इसलिए एक पास केवल एक ही वाहन पर लागू होगा.