scorecardresearch
 

पाकिस्तानी सेना का आतंकियों से कनेक्शन फिर बेनकाब, भारतीय हमले में ढेर आतंकी की कब्र पर पहुंचे टॉप अफसर

मुदस्सिर अहमद के अलावा, मरकज तैयबा पर भारतीय हमले में यूसुफ अजहर और अब्दुल मलिक रऊफ सहित अन्य प्रमुख लश्कर-ए-तैयबा आतंकवादी भी मारे गए थे. अजहर और रऊफ भारत के खिलाफ कई आतंकी हमलों की साजिश रचने में अपनी भूमिका के लिए लंबे समय से वांटेड थे.

Advertisement
X
पाकिस्तानी सेना और पंजाब प्रांत के अधिकारियों ने लश्कर आतंकवादी मुदस्सिर की कब्र पर श्रद्धांजलि अर्पित की. (Photo: ITG)
पाकिस्तानी सेना और पंजाब प्रांत के अधिकारियों ने लश्कर आतंकवादी मुदस्सिर की कब्र पर श्रद्धांजलि अर्पित की. (Photo: ITG)

पाकिस्तान की प्रतिबंधित आतंकवादी संगठनों के साथ गहरी सांठगांठ का एक और ज्वलंत उदाहरण देखने को मिला है. पाकिस्तानी सेना के शीर्ष अधिकारियों को ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारतीय हमले में मारे गए लश्कर-ए-तैयबा (LeT) के एक आतंकवादी की कब्र पर 14 अगस्त को खुलेआम श्रद्धांजलि अर्पित करते देखा गया. 

जीओसी लाहौर डिवीजन मेजर जनरल राव इमरान सरताज, संघीय मंत्री मलिक रशीद अहमद खान, डीपीओ कसूर मुहम्मद ईसा खान और डिप्टी कमिश्नर इमरान अली ने लाहौर के मुरीदके में मुदस्सिर अहमद की कब्र का दौरा किया. मुदस्सिर लश्कर का मुख्य ऑपरेटिव था, जो इंडियन एयरलाइंस के विमान IC-814 की हाईजैकिंग और 2019 के पुलवामा आतंकी हमले से जुड़ा था. वह आतंकी संगठन के मुख्यालय मरकज तैयबा को निशाना बनाकर किए गए भारतीय ऑपरेशन में मारे गए लोगों में शामिल था.

 

Pakistan Army Officers Attended Funeral of Terrorists Killed in Indian Strikes on 7th May Ops Sindoor
ऑपरेशन सिंदूर में 7 मई, 2025 को मारे गए आतंकियों के नमाज-ए-जनाजा में शामिल पाकिस्तानी सेना के अधिकारी. (Photo: Reuters)

मुदस्सिर अहमद के अलावा, मरकज तैयबा पर भारतीय हमले में यूसुफ अजहर और अब्दुल मलिक रऊफ सहित अन्य प्रमुख लश्कर-ए-तैयबा आतंकवादी भी मारे गए थे. अजहर और रऊफ भारत के खिलाफ कई आतंकी हमलों की साजिश रचने में अपनी भूमिका के लिए लंबे समय से वांटेड थे. मुरीदके में 7 मई को मुदस्सिर अहमद के अंतिम संस्कार का नेतृत्व लश्कर कमांडर अब्दुल रऊफ (अब्दुर रऊफ) ने किया, जो अमेरिका द्वारा विशेष रूप से नामित वैश्विक आतंकवादी है. 

Advertisement

पाकिस्तानी सेना के वरिष्ठ अधिकारियों और पंजाब प्रांत के पुलिस महानिरीक्षक (IGP) को लश्कर-ए-तैयबा के सदस्यों के साथ मुदस्सिर अहमद के जनाजे में नमाज अदा करते देखा गया था. इससे संयुक्त राष्ट्र और अमेरिका द्वारा सूचीबद्ध आतंकवादियों को पाकिस्तान की सरकार और सेना द्वारा दिए जा रहे निरंतर संरक्षण का पर्दाफाश होता है. यह घटनाक्रम आतंकवाद के मामले में पाकिस्तान के दोहरे रवैये का एक और सबूत है. वह सार्वजनिक रूप से आतंकवाद से लड़ने का दावा करता है, जबकि उसकी सरकारी मशीनरी दुनिया के कुछ मोस्ट वांटेड आतंकवादियों को सम्मानित करती नजर आती है.

---- समाप्त ----
Live TV

Advertisement
Advertisement