scorecardresearch
 

एक दिन में 60 से 70 रोटी खाने के बाद भी कहती है- मैं कमजोरी से परेशान हूं, महिला को हुई अजीबोगरीब बीमारी

डॉक्टर ने बताया कि महिला को साइकियाट्रिक डिसऑर्डर नामक बीमारी है, जिसमें उसे लगता है कि उसने खाना नहीं खाया. इस अजीब बीमारी के कारण परिवार आर्थिक तंगी में आ गया है. अब तक इलाज में 5 से 7 लाख रुपये खर्च हो चुके हैं.

Advertisement
X
बीमार महिला खटिया पर लेटी हुई.(Photo:ITG)
बीमार महिला खटिया पर लेटी हुई.(Photo:ITG)

मध्य प्रदेश के राजगढ़ में एक महिला को खाने की अजीब बीमारी हो गई है. सुबह से रात तक 60 से 70 रोटियां खाने के बावजूद महिला कमजोरी ही महसूस करती रहती है. महिला की बीमारी ने उसके ससुराल और मायकेवालों को भी परेशानी में डाल दिया है. ससुराल वालों ने राजस्थान के कोटा, झालावाड़, इंदौर, भोपाल, राजगढ़ और ब्यावरा में इलाज करवाया, फिर मायके वालों ने कोटा और राजगढ़-ब्यावरा में उपचार करवाया, लेकिन कोई राहत नहीं मिली. महिला आज भी रोजाना 60 से 70 रोटियां खा रही है.

राजगढ़ जिले के सुठालिया कस्बे के पास नेवज गांव की रहने वाली मंजू सौंधिया (28) पहले स्वस्थ थी. तीन साल पहले उसे यह अजीब बीमारी हुई. मंजू के दो बच्चे हैं. पहले वह घर-परिवार के काम करती थी, लेकिन इस बीमारी ने उसका जीना मुश्किल कर दिया. मंजू की दिनचर्या ऐसी है कि वह हर पल रोटी खाती और पानी पीती है. कुछ देर बाद फिर रोटी खाने लगती है. 

डॉ. कोमल दांगी ने बताया कि छह महीने पहले मंजू उनके पास आई थी. उसे घबराहट थी, इसलिए उसे भर्ती कर उपचार किया गया. बाद में वह दोबारा आई और कमजोरी की शिकायत की. उसे मल्टीविटामिन दवाएं दी गईं. 

डॉक्टर बोले- साइकियाट्रिक डिसऑर्डर है 

डॉ. दांगी ने बताया कि यह साइकियाट्रिक डिसऑर्डर है, जिसमें मंजू को लगता है कि उसने खाना नहीं खाया. वह मन को शांत करने के लिए बार-बार रोटी खाती और पानी पीती है.

Advertisement

मनोचिकित्सक बोले- कोई मानिसक बीमारी नहीं

डॉ. दांगी ने मंजू को भोपाल के मनोचिकित्सक आरएन साहू के पास जाने की सलाह दी. लेकिन जब मनोचिकित्सक को दिखाया गया तो उन्होंने कहा कि कोई मानसिक बीमारी नहीं है. परिवार अब मदद की उम्मीद में इंतजार कर रहा है.

रोटी खाने की आदत छुड़ाएं 

बताया गया कि अन्य दवाएं लेने पर मंजू को लूज मोशन की समस्या होती है, इसलिए वह दवाएं नहीं ले पा रही. डॉ. दांगी ने परिवार को सलाह दी कि मंजू की रोटी खाने की आदत छुड़ाएं और उसे खिचड़ी, फल या अन्य खाद्य पदार्थ दें ताकि उसकी मानसिक आदत में सुधार हो.

पहले मंजू को टाइफाइड हुआ था

मंजू के भाई चंदरसिंह सौंधिया ने बताया कि मंजू का विवाह सिंगापुरा के राधेश्याम सौंधिया से हुआ था. उसके 6 वर्ष की बेटी और 4 वर्ष का बेटा है. बच्चे ससुराल में हैं और मंजू मायके-ससुराल आती-जाती रहती है. पहले उसे टाइफाइड हुआ था, जिससे वह ठीक हो गई, लेकिन तीन साल से यह अजीब रोटी खाने की बीमारी उसे सता रही है. कभी वह 20-30 तो कभी 60-70 रोटियां खा लेती है.

आर्थिक स्थिति खराब

परिजन ने बताया कि ससुराल और मायके वालों ने इलाज करवाया, लेकिन कोई राहत नहीं मिली. इलाज में आर्थिक स्थिति खराब हो गई और अब तक कोई सरकारी मदद नहीं मिली. अब इलाज के लिए पैसे भी नहीं बचे.

---- समाप्त ----
Live TV

Advertisement
Advertisement