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यौन शोषण व हत्याः बाहुबली भैया राजा को उम्रकैद

आंध्र प्रदेश में सत्तारूढ़ कांग्रेस को झटका देते हुए तेलंगाना से पार्टी के दो सांसदों समेत चार वरिष्ठ नेताओं ने पार्टी पर अलग राज्य के निर्माण का वायदा पूरा नहीं करने का आरोप लगाते हुए तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) में शामिल होने की घोषणा की.

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मध्य प्रदेश के पूर्व विधायक अशोकवीर विक्रम सिंह उर्फ भैया राजा को एक स्थानीय अदालत ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई. बाहुबली नेता एवं पूर्व विधायक भैया राजा को फैशन डिजाइनर वसुंधरा बुंदेला के वर्षों तक यौन शोषण और हत्या का आरोप था. अदालत ने उन्हें उम्रकैद के साथ ही अर्थदंड भी दिया है. पूर्व विधायक के साथ चार अन्य लोगों को आजीवन कारावास और अर्थदंड की सजा दी गई है.

जिला अदालत के नवम अपर सत्र न्यायाधीश ने 124 पृष्ठों के फैसले में अशोकवीर विक्रम सिंह उर्फ भैजाराजा, भूपेन्द्र सिंह उर्फ हल्के, रामकिशन उर्फ छोटू लोधी, अभिमन्यु उर्फ अब्बू तथा पंकज शुक्ला उर्फ मरतड शुक्ला को हत्या का दोषी ठहराते हुए उम्रकैद के साथ पांच-पांच सौ रुपये अर्थदंड की सजा सुनायी जबकि एक अन्य आरोपी रोहणी शुक्ला उर्फ रंपी को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया.

मिसरोद पुलिस ने 10 दिसंबर 2009 को गुआरी घाट के रतन सिंह रोड पर एक झाड़ी के पास से फैशन डिजाइनर वसुंधरा बुदेला का शव बरामद किया था. पुलिस द्वारा छानबीन के बाद इस मामले में भैयाराजा की गिरफ्तारी 20 दिसंबर को की गयी थी. पुलिस ने इस मामले में अदालत में 56 गवाहों की सूची पेश की थी, लेकिन 36 गवाहों के बयान ही हो पाये.

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भैया राजा सहित सभी आरोपी गिरफ्तारी के बाद से ही जेल में बंद थे. उनकी जमानत स्वीकार नहीं की गयी थी. हाई कोर्ट से भी उनकी जमानत याचिका रद्द कर दी गयी थी.

अदालत ने अपने फैसले में सभी आरोपियों को दोषी ठहराते हुए 16 बिदुंओं को ध्यान में रखकर उन्हें सजा सुनायी. अदालत ने अपने फैसले में कहा कि भैयाराज ने छतरपुर जिला स्थित रतनगढी में पंकज और भूपेन्द्र के साथ मिलकर वसुंधरा की हत्या की साजिश रची. बुंदेला की लाश ठिकाने लगाने के लिये एक बोलेरो जीप का इस्तेमाल किया. जीप से न केवल वसुंधरा के कानों के टाप्स बरामद हुये बल्कि उसकी सीट के नीचे से इस्तेमाल किये गये कारतूस भी बरामद हुये थे. अदालत ने सजा सुनाने से पहले वहां उपस्थित अभियुक्त भैया राजा को इस मामले में दोषी ठहराये जाने की जानकारी दी. इस पर भैया राजा ने अपनी बढ़ती उम्र और बीमारियों का हवाला देते हुए कम से कम सजा का आग्रह किया. लेकिन अदालत ने उनके आग्रह की और कोई ध्यान नहीं दिया.

अदालत में इस मामले में सजा सुनाये जाने को देखते हुए कडी सुरक्षा व्यवस्था की गयी थी और लोगों को जांच के बाद ही अंदर जाने दिया जा रहा था. लेकिन इसके बावजूद सैकडों की संख्या में भैया राजा के समर्थक अदालत परिसर में मौजूद थे.

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वसुंधरा बुंदेला के पिता मृगेंन्द्र सिंह भी अदालत में फैसला सुनने आये थे लेकिन उनकी जान के खतरे को देखते हुए पुलिस ने उन्हें वहां से अन्यत्र भेज दिया था.

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