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जम्मू-कश्मीर में लश्कर का आतंकी मोहम्मद कटारिया गिरफ्तार, पहलगाम हमले से जुड़े हैं तार

जम्मू-कश्मीर पुलिस ने बताया कि कटारिया तक पहुंचने में रिवर्स इन्वेस्टिगेशन का सहारा लिया गया. जांच टीम ने विभिन्न सुरागों का विश्लेषण कर उसे ट्रैक किया और गिरफ्तार किया. प्रारंभिक जांच में यह भी स्पष्ट हुआ कि कटारिया ने आतंकवादियों को हथियार, राशन और अन्य जरूरी सामग्री मुहैया कराई थी.

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पहलगाम आतंकी हमले में 26 लोगों की जान गई थी (File Photo- PTI)
पहलगाम आतंकी हमले में 26 लोगों की जान गई थी (File Photo- PTI)

जम्मू-कश्मीर पुलिस को बड़ी कामयाबी मिली है. कारण, पुलिस ने पहलगाम आतंकी हमले को अंजाम देने वाले आतंकियों के मददगार को गिरफ्तार किया है. पुलिस ने मोहम्मद यूसुफ कटारिया नाम के आतंकी को पकड़ा है, जो लश्कर-ए-तैयबा (टीआरएफ) का एक सक्रिय सदस्य है.

जांच में यह सामने आया कि कटारिया ने आतंकवादियों को लॉजिस्टिक सपोर्ट मुहैया कराया और उनके हमलों की योजना में सहायता की. हालांकि वह बैसरन आतंकवादी हमले में सीधे तौर पर शामिल नहीं था.

पुलिस सूत्रों के अनुसार, कटारिया को दिन पहले ही गिरफ्तार किया गया था. गिरफ्तारी श्रीनगर पुलिस और जम्मू-कश्मीर पुलिस की संयुक्त कार्रवाई के तहत ब्रिनाल-लामड़ इलाके से की गई. कटारिया कुलगाम के ऊपरी इलाकों में रहने वाले घुमंतु (Nomadic) समुदाय से ताल्लुक रखता है, जिनके झोपड़ियां पहाड़ी क्षेत्रों में स्थित हैं. ये इलाके लश्कर के आतंकवादियों द्वारा दक्षिण कश्मीर के विभिन्न क्षेत्रों तक पहुंचने के लिए अक्सर इस्तेमाल किए जाते हैं.

जम्मू-कश्मीर पुलिस ने बताया कि कटारिया तक पहुंचने में रिवर्स इन्वेस्टिगेशन का सहारा लिया गया. जांच टीम ने विभिन्न सुरागों का विश्लेषण कर उसे ट्रैक किया और गिरफ्तार किया. प्रारंभिक जांच में यह भी स्पष्ट हुआ कि कटारिया ने आतंकवादियों को हथियार, राशन और अन्य जरूरी सामग्री मुहैया कराई थी.

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पुलिस ने गिरफ्तारी को आतंकवाद के खिलाफ एक महत्वपूर्ण सफलता करार देते हुए कहा कि इससे दक्षिण कश्मीर में सक्रिय आतंकी नेटवर्क पर लगाम लगाने में मदद मिलेगी.

22 अप्रैल को हुआ था आतंकी हमला

बता दें कि 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम स्थित बैसरण घाटी में हुए भीषण आतंकी हमले में 25 पर्यटकों और एक स्थानीय नागरिक की मौत हो गई थी. इस हमले की जिम्मेदारी पाकिस्तान-आधारित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के मोर्चे द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने ली थी.

इस हमले के बाद भारतीय सुरक्षाबलों ने ऑपरेशन महादेव के तहत कई आतंकियों को मार गिराया था. पहलगाम हमले के बाद पहले ही सप्ताह में चार बड़े आतंकवाद रोधी अभियान शुरू किए गए थे, जिनमें ज्यादातर दक्षिण कश्मीर के शोपियां और पुलवामा इलाके फोकस में रहे. मई के मध्य में दो और ऑपरेशन किए गए, जिसमें आक्रामक रणनीति अपनाई गई.

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