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आतंकी मामले में सबूत के तौर पर पुलिस ने जब्त की थी कार, AAP सरकार के अभियान में हो गई स्क्रैप

2006 मॉडल की मारुति ऑल्टो कार लोधी कॉलोनी में स्पेशल सेल पुलिस स्टेशन के बाहर खड़ी थी. उन्होंने कहा कि 15 साल से अधिक पुरानी होने के कारण मई में वाहनों को जब्त करने के अभियान के दौरान कार को उठाया गया था. इसके बाद उसे स्क्रैप कर दिया गया. अब दिल्ली पुलिस कोर्ट को घटना के बारे में सूचित करेगी.

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प्रतीकात्मक तस्वीर.
प्रतीकात्मक तस्वीर.

दिल्ली पुलिस ने एक आतंकी मामले में सबूत के तौर पर एक कार को जब्त किया था. इसे यहां एक पुलिस स्टेशन के बाहर पार्क किया गया था. मगर, दिल्ली सरकार के परिवहन विभाग ने अभियान के तहत उस कार को उठाया और बाद में स्क्रैप यानी नष्ट कर दिया. 

अधिकारियों ने बताया कि 2006 मॉडल की मारुति ऑल्टो कार लोधी कॉलोनी में स्पेशल सेल पुलिस स्टेशन के बाहर खड़ी थी. उन्होंने कहा कि 15 साल से अधिक पुरानी होने के कारण मई में वाहनों को जब्त करने के अभियान के दौरान कार को उठाया गया था.

कार को जब्त किए जाने के निर्धारित तीन महीनों के भीतर कोई भी दावा करने के लिए आगे नहीं आया. लिहाजा, दिल्ली पुलिस की जानकारी के बिना कार को स्क्रैप कर दिया गया. यह कार साल 2021 के आतंकी मामले में दिल्ली पुलिस की चल रही जांच में एक सबूत के तौर पर जब्त की गई थी.

हमारी तरफ से नहीं हुई कोई गलती- विशेष आयुक्त, परिवहन  

परिवहन विभाग के विशेष आयुक्त शहजाद आलम ने बताया कि दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने अब तक किसी चूक की बात नहीं कही है. हमारी तरफ से कोई गलती नहीं की गई है. वाहन सार्वजनिक सड़क पर पार्क किया गया था और इसे जब्त करके नष्ट करने के लिए स्क्रैपयार्ड भेज दिया गया. 

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आलम ने बताया कि मामला सामने आने के बाद हमने कबाड़ी को कारण बताओ नोटिस जारी किया है. उन्होंने कहा कि कबाड़ी ने इसका जवाब दिया और वह स्पेशल सेल के SHO से भी मिले. उन्होंने कहा कि कबाड़ी ने कबाड़ की तस्वीरें साझा की हैं. कार पुलिस स्टेशन के बाहर खड़ी थी.

इस बीच, दिल्ली पुलिस के एक अधिकारी ने कहा कि अदालत को घटना के बारे में सूचित किया जाएगा. उन्होंने कहा कि मामले की अगली सुनवाई जनवरी में होगी.

2018 में सुप्रीम कोर्ट ने दिया था यह आदेश  

बताते चलें कि साल 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली में 10 साल से अधिक पुराने डीजल वाहनों और 15 साल से ज्यादा पुराने पेट्रोल वाहनों पर प्रतिबंध लगा दिया था. इसमें कहा गया था कि आदेश का उल्लंघन कर चलने वाले वाहनों को जब्त कर लिया जाएगा. वहीं, नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल का 2014 का एक आदेश 15 साल से अधिक पुराने वाहनों को सार्वजनिक स्थानों पर पार्क करने पर रोक लगाता है.

पिछले साल रद्द हुआ 50 लाख कारों का रजिस्ट्रेशन 

पिछले साल जनवरी से अक्टूबर के बीच कम से कम 50 लाख ओवरएज वाहनों का रजिस्ट्रेशन रद्द किया गया था. परिवहन विभाग ने कहा कि अब तक 15,000 से अधिक ऐसे वाहन जब्त किए जा चुके हैं. दिल्ली उच्च न्यायालय ने सरकार से अधिक उम्र वाले वाहनों से निपटने के लिए एक नीति बनाने को कहा था, जब उनके मालिक यह आश्वासन देने को तैयार हों कि इनका उपयोग राष्ट्रीय राजधानी में नहीं किया जाएगा. 

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