उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में मंगलवार को अलाया अपार्टमेंट की बिल्डिंग जमींदोज हो गई थी. इस मामले में पुलिस ने सपा नेता शाहिद मंजूर के बेटे नवाजिश शाहिद को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं पुलिस मोहम्मद तारिक और फहद याजदानी की तलाश कर रही है. पुलिस ने इन तीनों के खिलाफ हजरतगंज कोतवाली में आईपीसी की धारा 308, 323, 420, 120 बी और 7 सीएलए में एफआईआर दर्ज की है.
पुलिस ने कहा कि दो मौतों के बाद मामले में गैर इरादतन हत्या की धारा बढ़ाई जाएगी. हजरतगंज थाने के सीनियर सब इंस्पेक्टर दया शंकर द्विवेदी ने यह केस दर्ज कराया है.
अधिकारियों का कहना है कि 14 लोगों को सकुशल निकाल लिया गया है. दो लोगों की मौत हो गई है. अब बड़ी मशीन से मलबा हटाया जा रहा है. मलबा हटाने का काम 24 घंटे चलेगा. अब मलबे में किसी के भी दबे होने की आशंका नहीं है.

इस मामले में 3 लोगों पर नामजद एफआईआर दर्ज हुई है. सीपी लखनऊ एसबी शिराडकर ने बताया कि इस मामले में दो महिलाओं की मौत हुई है, लिहाजा हम ipc की धारा 304 भी जोड़ रहे हैं. नवाजिश शाहिद को गिरफ्तार किया गया है, 2 अन्य की तलाश की जा रही है. पुलिस की 5 टीमें तलाश में लगाई गई हैं.
इस हादसे में कांग्रेस के प्रवक्ता रहे जीशान हैदर की मां बेगम हैदर का निधन हो गया है. डॉक्टर्स की टीम ने उन्हें बचाने की कोशिश की, लेकिन अस्पताल आने के बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया गया. 70 वर्षीय बेगम हैदर 16 घंटे से ज्यादा मलबे में जिंदगी और मौत से जूझती रहीं, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका. उनकी मौत के बाद पूरे परिवार में मातम पसरा है.
JCB की मदद से हटाया जा रहा मलबा
JCB से जमींदोज हो चुकी इमारत की छत को तोड़कर मलबा हटाया जा रहा है. 42 साल की एक महिला 201 फ्लैट में रहती थीं, उनको निकालने की कोशिश की जा रही है. पुलिस अफसरों के अनुसार, महिला से संपर्क के सभी प्रयास कर लिए गए, लेकिन संपर्क नहीं हो सका है. मलबे को तेजी से हटाकर निकालने की कोशिश की जा रही है.

बता दें कि राजधानी लखनऊ के हजरतगंज में स्थित अलाया अपार्टमेंट ताश के पत्तों की तरह जमींदोज हो गया था. पहले कहा गया कि बिल्डिंग ढहने की वजह भूकंप है, लेकिन बाद में पता चला कि मामला भूकंप का नहीं, बल्कि बिल्डिंग के बेसमेंट में कंस्ट्रक्शन कार्य चल रहा था, जिसकी वजह से बिल्डिंग का एक पिलर कमजोर हो गया और बिल्डिंग जमींदोज हो गई.
घटना के बाद डीजीपी ने दी थी हालात की जानकारी
इस मामले में मंगलवार-बुधवार की दरम्यानी रात 3 बजे डीजीपी ने कहा था कि एनडीआरएफ द्वारा जो कार्य किया जा रहा है, उसमें 3 लेयर क्लियर हो गई हैं और चौथी लेयर को तोड़ा जा रहा है. उसमें ड्रिल कर दिया गया है और उसके माध्यम से ऑक्सीजन नीचे पहुंचाई जा रही है. अंदर फंसे लोगों से हम संपर्क किया जा रहा है.
डीजीपी ने कहा था कि सपा सरकार में मंत्री रहे शाहिद मंसूर के बेटे नवाजिश की बिल्डिंग है. उनका प्लॉट है और वो मालिक हैं. जिस बिल्डर ने बनाया है, उसका नाम यजदान है. हम लोग इन्वेस्टिगेशन करेंगे और उसी के आधार पर कार्रवाई करेंगे. बख्शा किसी को नहीं जाएगा.