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'अब चेतावनी नहीं, कार्रवाई का समय', भूमि माफियाओं पर सख्त हुए डिप्टी सीएम विजय सिन्हा

बिहार के उपमुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा ने भूमि माफियाओं के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश देते हुए अधिकारियों को चेतावनी दी है. उन्होंने कहा कि अगर राजस्व विभाग के अधिकारी भूमि माफियाओं के प्रति सहानुभूति दिखाते हैं या कार्रवाई में विफल रहते हैं, तो उनके खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई की जाएगी. इस दौरान विजय कुमार सिन्हा ने अपने 'जनता दरबार' कार्यक्रम को लेकर लगाए गए आरोपों को भी खारिज किया.

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आरोपों को डिप्टी सीएम ने किया खारिज  (Photo: Screengrab)
आरोपों को डिप्टी सीएम ने किया खारिज (Photo: Screengrab)

बिहार के उपमुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा ने शनिवार को भूमि माफियाओं के खिलाफ सख्त रुख अपनाते हुए अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि ऐसे तत्वों पर तत्काल कार्रवाई की जाए. राजस्व-भूमि सुधार विभाग का प्रभार संभाल रहे विजय सिन्हा ने चेतावनी दी कि यदि अधिकारी कार्रवाई करने में नाकाम रहते हैं, तो उनके खिलाफ भी कड़े कदम उठाए जाएंगे.

अफसरों को सख्त चेतावनी

न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक बातचीत में डिप्टी सीएम ने कहा कि उन्होंने अपने विभाग के सर्किल अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वो उन लोगों की पहचान करें, जो फर्जी दस्तावेज तैयार करते हैं, धोखाधड़ी करते हैं, वैध जमीनों पर विवाद खड़ा करते हैं और अदालतों में भ्रामक शिकायतें दर्ज कराते हैं. उन्होंने कहा कि ऐसे मामलों में यदि गड़बड़ी प्रमाणित होती है, तो संबंधित व्यक्तियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की जाए.

विजय कुमार सिन्हा ने कहा, 'चेतावनी का समय खत्म हो चुका है, अब कार्रवाई का समय है.' उन्होंने स्पष्ट किया कि भूमि माफिया, एजेंट और बिचौलियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं. साथ ही यह भी कहा कि यदि अधिकारी इस दिशा में विफल रहते हैं, तो सरकार उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगी.

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अब चेतावनी नहीं, कार्रवाई का समय: विजय कुमार सिन्हा

डिप्टी सीएम ने यह भी चेताया कि यदि उनके विभाग का कोई अधिकारी भूमि माफियाओं के प्रति सहानुभूति दिखाता है, तो उसे बख्शा नहीं जाएगा. उन्होंने कहा कि सरकार की प्राथमिकता आम लोगों को न्याय दिलाना और भूमि से जुड़े मामलों में पारदर्शिता सुनिश्चित करना है.

इस दौरान विजय कुमार सिन्हा ने अपने 'जनता दरबार' कार्यक्रम को लेकर लगाए गए आरोपों को भी खारिज किया. उन्होंने कहा कि जनता दरबार में अधिकारियों के साथ किसी भी तरह की बदसलूकी या अपमान नहीं किया जाता. सिन्हा ने दावा किया कि हजारों लोग एक साथ बैठते हैं और उनके भूमि संबंधी मामलों को सुलझाने का प्रयास किया जाता है.
 

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