न्यूजीलैंड के पूर्व क्रिकेट कप्तान मार्टिन क्रो का लिंफोमा बीमारी के चलते 53 साल की उम्र में गुरुवार को निधन हो गया. क्रो को 2012 में पता लगा था कि उन्हें लिंफोमा बीमारी है.
कीमोथेरेपी के बाद उनकी हालत में सुधार होने लगा था. लेकिन 2014 में क्रो ने घोषणा की थी कि उनका कैंसर फिर से लौट आया है.
न्यूजीलैंड के धाकड़ बल्लेबाज ने 77 टेस्ट और 143 वनडे मैच खेले. उन्होंने टेस्ट में 17 और वनडे में 4 शतक लगाए. जबकि टेस्ट में 5444 और एकदिवसीय मैचों में 4704 रन बनाए.
1985 में उन्हें विजडन क्रिकेटर ऑफ द ईयर चुना गया था. 1992 के विश्व कप में उन्हें प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट चुना गया था. उन्होंने नौ मैचों में 456 रन बनाए थे.
क्रो ने 1982 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 19 साल की उम्र में पदार्पण किया. क्रो न्यूजीलैंड के सर्वश्रेष्ट क्रिकेटरों में से एक हैं.
मार्टिन की वाइफ लॉरेन डाउन्स 1983 में मिस यूनीवर्स रह चुकी हैं और वे डांसर भी है. उनके दो बच्चे भी हैं.
2015 में क्रो को आईसीसी हाल ऑफ फेम में शामिल किया गया था.
संन्यास के बाद उन्होंने स्काई टीवी के लिए खेल के छोटे फॉर्मेट क्रिकेट
मैक्स की शुरुआत की जिससे टी20 क्रिकेट की नींव पड़ी. क्रिकेट मैक्स में
टीमों को 10-10 ओवर की दो इनिंग्स खेलनी होती थीं.
कप्तान रहते हुए क्रो 1992 के वर्ल्ड कप में न्यूजीलैंड को पहली बार सेमीफाइनल तक ले गए थे.
1992 के विश्व कप में उन्होंने पहली बार वनडे में किसी स्पिनर से गेंदबाजी की शुरुआत कराई. गेंदबाज भारतीय मूल के दीपक पटेल थे.
1995 में 33 साल की उम्र में संन्यास लेने वाले मार्टिन बाद में टीवी कमेंटेटर बन गए. 2011 में 48 की उम्र में उन्होंने क्रिकेट में वापसी की कोशिश की. वे कॉर्नवॉल क्लब के लिए खेलने लगे.
मार्टिन 1991 में वेलिंगटन में श्रीलंका के खिलाफ 299 पर आउट हुए थे. यह रिकॉर्ड 23 साल तक कायम रहा. बाद में मैकुलम ने भारत के खिलाफ तिहरा शतक लगाकर इस रिकॉर्ड को तोड़ा.