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अंडा बेचने वाले ने सरकारी स्कूल के अंदर सजा ली दुकान, बोला- माटसाहब को पैसा देकर आता हूं

अंडे का ठेला लगाने वाले दुकानदार का कहना है कि स्कूल के अंदर ठेला लगाने के लिए माटसाहब को पैसा देना पड़ता है. जब पैसा देते हैं तभी स्कूल के अंदर ठेला लगाने की अनुमति मिलती है.

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स्कूल के अंदर अंडे का ठेला. (लाल घेरे में)
स्कूल के अंदर अंडे का ठेला. (लाल घेरे में)

मध्य प्रदेश के गुना में शिक्षा विभाग से जुड़ा बेहद हैरान करने वाला मामला देखने को मिला है. मुख्यालय से महज 8 किमी कि दूरी पर स्थित शासकीय प्राथमिक विद्यालय गढ़लागिर्द के अंदर अंडे का ठेला लगाया जा रहा है.  तस्वीरों को देखकर आपको हैरानी होगी, लेकिन ये हकीकत है. 
 
स्कूल में अंडे के ठेले के साथ साथ गोलगप्पे भी बेचे जा रहे हैं. स्कूली बच्चे भी बड़े चाव से खा रहे हैं. ग्रामीण इलाके के गढ़लागिर्द स्कूल का ये नजारा आम है. ऐसा एक दो दिन नहीं, बल्कि हमेशा होता है. 

अंडे का ठेला लगाने वाले दुकानदार का कहना है कि स्कूल के अंदर ठेला लगाने के लिए माटसाहब को पैसा देना पड़ता है. जब पैसा देते हैं तभी स्कूल के अंदर ठेला लगाने की अनुमति मिलती है. गढ़लागिर्द गांव के स्कूल में पहली क्लास से पांचवीं क्लास के बच्चे पढ़ने आते हैं. बजरंगढ़ जन शिक्षा केंद्र के अंतर्गत यह स्कूल संचालित है.

कुछ समय पहले सूबे के मुखिया डॉक्टर मोहन यादव ने आदेश देते हुए नॉनवेज को खुलेआम बेचने पर पूर्णतः प्रतिबंधित किया था. लेकिन गुना में खुद मुख्यमंत्री के आदेश की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं. बेहद हैरान करने वाली तस्वीरों ने पूरे के पूरे सिस्टम पर सवाल खड़े कर दिए हैं.

जब इस मामले में जिला शिक्षा अधिकारी चंद्रशेखर सिसोदिया से पूछा गया तो उन्होंने हमेशा क़ी तरह आश्वासन देते हुए कार्रवाई की बात कही है. जिला शिक्षा अधिकारी ने कहा कि स्कूल परिसर में इस तरह के कार्य बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे.

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