मध्य प्रदेश के इंदौर में एक महिला को नया जीवन मिला है. सरकारी अस्पताल के डॉक्टरों ने महिला के गर्भाशय से 30 फाइब्रॉएड (बच्चेदानी की गांठ) निकाले. इस ऑपरेशन के बाद पीड़िता को दर्द से बड़ी राहत मिल गई है.
स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि महाराजा तुकोजी राव अस्पताल (MTH) में स्त्री रोग एवं प्रसूति विभाग की प्रमुख डॉक्टर सुमित्रा यादव ने बताया कि महिला शादी के कई सालों बाद भी गर्भधारण नहीं कर पा रही थी और बांझपन का इलाज करा रही थी.
दरअसल, गर्भाशय में फाइब्रॉएड के कारण मरीज का पेट फूल गया था, जिससे वह 7 महीने की गर्भवती लग रही थी. यह एक दर्दनाक कंडीशन थी और उसे अपच के साथ-साथ अन्य स्वास्थ्य समस्याओं का भी सामना करना पड़ रहा था.
जांच के बाद सर्जरी विशेषज्ञ पांच डॉक्टरों की एक टीम ने बीती 17 जुलाई को महिला का मायोमेक्टोमी ऑपरेशन किया. दो घंटे की सर्जरी के दौरान, महिला के गर्भाशय से 30 छोटे और बड़े फाइब्रॉएड निकाले गए. इनकी लंबाई 1 से 8 सेमी तक थी.
डॉ. सुमित्रा यादव ने बताया कि महिला की कंडीशन पर नजर रखी गई और जब वह स्वस्थ पाई गई तो उसे सोमवार को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई.