अमेरिकी लोगों के आईक्यू को लेकर हुई रिसर्च ने खुलासा किया था कि अमेरिकी लोगों में आईक्यू का लेवल गिरता जा रहा है. शोधकर्ताओं का कहना था कि कई संज्ञानात्मक चीजों में आईक्यू में गिरावट चिंता का कारण बन सकती है. इन चीजों में वर्बल रीजनिंग, मैट्रिक्स रीजनिंग, अक्षर और संख्या श्रृंखला और वर्बल मेमोरी शामिल है. शोधकर्ताओं ने साल 2006 से लेकर साल 2012 तक 3 लाख 94 हजार अमेरिकी लोगों को इस शोध में शामिल किया.
दिलचस्प बात यह है कि शोध के दौरान ही साल 2011 से साल 2018 के बीच स्थानिक तर्क (स्पैटियल रीजनिंग) में 2011 और 2018 के बीच मामूली सुधार देखने को जरूर मिला. स्पैटियल रीजनिंग में 3डी रोटेशन जैसे कार्य शामिल हैं. शोधकर्ताओं की मानें तो शोध के दौरान यह अपवाद गंभीर सवाल उठाता है कि क्या बुद्धिमत्ता विभिन्न संज्ञानात्मक कौशलों में अलग-अलग तरीके से विकसित हो रही है?
क्या वजह हो सकती हैं जिम्मेदार
लोगों के आईक्यू लेवल के गिरने के पीछे कई चीजें कारण हो सकती हैं. खराब लाइफस्टाइल भी इसके पीछे की एक वजह हो सकती है. आजकल ना सिर्फ लोग खान-पान में गलतियां करते हैं बल्कि उनका दिनचर्या भी आलस से भरपूर रहती है जिससे वह फिट भी नहीं रह पाते हैं. यही खराब पोषण और खराब सेहत ही आईक्यू की गिरावट का कारण हो सकती है.
वहीं एक्सपर्ट्स का कहना है कि जिस तरीके से लोगों में सोशल मीडिया का चलन बेहद बढ़ गया है, यह भी एक कारण हो सकता है. मीडिया की बढ़ती खपत संज्ञानात्मक विकास को प्रभावित कर सकती है. पर्यावरण भी इसमें कारण बन सकता है. इसके साथ ही जिस तरह से कम स्किल वाली नौकरियों का चलन बढ़ रहा है, यह भी आईक्यू में गिरावट का कारण हो सकती है. हालांकि, शोधकर्ता अभी तक इस मामले में किसी नतीजे पर तो नहीं पहुंचे हैं लेकिन उन्होंने इसे चिंता करने वाली स्थिति जरूर बताया है.