पंजाब में इन दिनों बाढ़ की स्थिति बेहद खराब है. पिछले दिनों हुई बारिश और बाढ़ के बाद हजारों लोग पलायन कर किसी सुरक्षित जगह पर चले गए हैं. जालंधर, कपूरथला और फगवाड़ा जैसे इलाके जलमग्न हो चुके हैं. मौसम विभाग ने नौ जिलों के लिए आज भी जोरदार बारिश का अलर्ट जारी किया है. प्रदेश भर के करीब 3 लाख एकड़ खेती वाली जमीन जलमग्न हो गए हैं. इस बीच लोग भी आगे आकर बढ़-चढ़कर मदद कर रहे हैं.
आम आदमी पार्टी के नेता और पंजाब के वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने बताया कि आबकारी और कर विभाग के कर्मचारियों की ओर से 50 लाख रुपये मुख्यमंत्री राहत कोष में जमा करने के लिए एकत्र किए गए हैं. इन राशि का इस्तेमाल बाढ़ प्रभावित लोगों की मदद करने के लिए की जाएगी.
हरपाल सिंह चीमा ने कहा, 'आबकारी और कर विभाग के कर्मचारियों ने 50 लाख रुपये की राशि का चेक एकत्र करके मुझे मुख्यमंत्री राहत कोष में जमा करने के लिए सौंपा है. पूरी दुनिया में पंजाब लोगों को आपसी भाईचारे के लिए जाना जाता है. दुनिया के अंदर पंजाबियों की एक ही पहचान है - ये दूसरे लोगों की मदद करते हैं और आपस में भी मदद करते हैं. मैं लोगों से आग्रह करता हूं कि सभी लोग आगे आकर मदद करें ताकि कोई भूखा न सोये और न ही पशुओं को चारे की कमी हो. पशुओं की उनकी खुराक मिलती रहनी चाहिए.'
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BSF का युद्ध स्तर पर रेस्क्यू ऑपरेशन
पंजाब में पिछले 25 वर्षों में इस बार बारिश का रिकॉर्ड टूटा है, जिसके कारण 23 में से 18 जिलों में बाढ़ की स्थिति है. सीमावर्ती इलाकों में हालात सबसे खराब हैं, जहाँ सीमा सुरक्षा बल (BSF) लोगों के लिए एकमात्र उम्मीद है. सैलाब में फंसे लोगों को बचाने और राहत सामग्री पहुँचाने के लिए BSF युद्ध स्तर पर काम कर रहा है. इस अभियान में 69 हेलिकॉप्टर, 45 वाटरबोट और 30 वाहन जुटे हुए हैं. फिरोजपुर के भारत-पाकिस्तान सीमा से कुछ किलोमीटर दूर BSF ने राहत बचाव अभियान चला रखा है.