महाराष्ट्र के दत्तावाड़ी के एक सेवानिवृत्त सहकारी बैंक अधिकारी ने आरोप लगाया है कि उनके 31 साल के रिश्तेदार ने खुद को मिलिट्री इंटैलिजेंस ऑफिसर बताकर उनसे 4 करोड़ रुपये से अधिक की ठगी की है. पार्वती पुलिस ने आरोपी शुभम सुनील प्रभाले और उसके माता-पिता व भाई समेत उसके परिवार के चार सदस्यों के खिलाफ मामला दर्ज किया है.
जांचकर्ताओं के अनुसार, जनवरी 2020 से सितंबर 2024 के बीच, प्रभाले ने शिकायतकर्ता से 'प्रोसेसिंग फीस' के नाम पर पैसे ऐंठ लिए, यह दावा करते हुए कि वह अपने द्वारा किए गए काम के लिए रक्षा मंत्रालय की ओर से 38 करोड़ रुपये के भुगतान का इंतजार कर रहा है. पीड़ित को विश्वास दिलाने के लिए, आरोपी ने कथित तौर पर उसे रक्षा मंत्रालय के अधिकारी बनकर अपने सहयोगियों से बातचीत भी कराई.
पुलिस ने कहा कि 53 वर्षीय पूर्व बैंककर्मी शिकायतकर्ता ने अपनी बचत, अपनी पत्नी के खातों, रिश्तेदारों से लिए गए ऋणों और संपत्ति व वाहन जैसी निजी संपत्तियां बेचकर इस 4 करोड़ रुपये का प्रबंध किया था. नकद और बैंक ट्रांसफर के माध्यम से कुल मिलाकर, 4.06 करोड़ रुपये दिए गए. आरोपी के परिवार के सदस्यों पर धोखाधड़ी में सक्रिय रूप से शामिल होने का संदेह है.
शिकायत पर कार्रवाई करते हुए, पुलिस ने उन पर भारतीय न्याय संहिता की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है, जो लोक सेवक का रूप धारण करने और धोखाधड़ी से संबंधित हैं. पार्वती पुलिस स्टेशन के वरिष्ठ निरीक्षक नंदकुमार गायकवाड़ ने पुष्टि की कि संदिग्धों की तलाश के लिए तलाशी अभियान जारी है और आगे की जांच जारी है.