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निर्माण में देरी और लापरवाही से गई 4 जानें... पुणे फुटओवर ब्रिज हादसे पर सवालों के घेरे में सरकार

पुणे के कुंडमाला इलाके में इंद्राणी नदी पर 30 साल पुराने ब्रिज के गिरने से चार लोगों की मौत हो गई, जबकि 38 को बचाया गया. जर्जर पुल तीन महीने पहले बंद कर दिया गया था, बावजूद इसके उस दिन 100 से अधिक लोग पुल पर मौजूद थे. लगभग छह महीने पहले नई सरकार ने पुल के निर्माण की मंजूरी दी थी, लेकिन निर्माण में देरी हुई.

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पुणे फुटओवर ब्रिज हादसे में चार की मौत (फोटो क्रेडिट- पीटीआई)
पुणे फुटओवर ब्रिज हादसे में चार की मौत (फोटो क्रेडिट- पीटीआई)

महाराष्ट्र के पुणे के कुंडमाला इलाके में इंद्राणी नदी पर बना लगभग 30 साल पुराना लोहे का ब्रिज 15 जून (रविवार) को ढह गया, जिससे चार लोगों की मौत हो गई और 38 लोगों को बचाया गया. यह पुल जर्जर होने के कारण तीन महीने पहले ही बंद कर दिया गया था, फिर भी सौ से अधिक लोग इस पर मौजूद थे. 

ब्रिज को लेकर सनसनीखेज बातें सामने आई हैं जिससे सरकार सवाल के घेरे में आ गई है. पैदल पुल निर्माण के लिए सरकार की ओर से छह महीने पहले ही मंजूरी दे गई थी. हालांकि, मंजूरी मिलने के बावजूद पुल के निर्माण में देरी हुई और मानसून से पहले इतना बड़ा हादसा हो गया. 

मंजूरी से हादसे तक

  • 4 जुलाई 2024 को मंत्रालय की बैठक में पुल निर्माण की मांग को मंजूरी दी गई थी.
  • 11 जुलाई 2024 को तत्कालीन लोक निर्माण मंत्री रविंद्र चव्हाण ने बीजेपी मावल तालुका के अध्यक्ष रविंद्र भेगडे को लिखे पत्र में 8 करोड़ रुपये की मंजूरी का उल्लेख किया. 
  • फिर सितंबर 2024 को PWD ने साइट का मुआयना कर डिज़ाइन तैयार किया गया और तकनीकी रिपोर्ट को मंत्रालय को भेजा गया.
  • 15 अक्टूबर 2024 को पुल निर्माण का ई-टेंडर प्रकाशित किया गया. उसी दिन महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए आचार संहिता लगाई गई. हालांकि, ई-टेंडर को रद्द नहीं किया गया क्योंकि आचार संहिता लागू होने के पहले ही जारी किया गया था.

यह भी पढ़ें: 30 साल पुराने ब्रिज पर उमड़ी भीड़, नीचे रौद्र रूप में थी इंद्रायणी नदी, तभी ढह गया पुल... पुणे में ऐसे हुआ जानलेवा हादसा

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  • दिसंबर 2024 में नई सरकार बनी और देवेंद्र फडणवीस महाराष्ट्र के नए मुख्यमंत्री बने.
  • जनवरी से जून 2025 तक पुल निर्माण का कार्य शुरू नहीं हुआ. 
  • 10 जून 2025 को PWD की ओर से पुल निर्माण के लिए वर्क ऑर्डर जारी किया गया. हालांकि, वर्क ऑर्डर पर तारीख हाथ से लिखी हुई थी. जिससे संदेह गहरा गया. 
  • 15 जून 2025 को पुल गिरा और सरकार ने कहा कि भीड़भाड़ के कारण पुल गिरा. 

पुल गिरने पर उठ रहे ये सवाल

पुल गिरने पर ये सवाल खड़ा हो रहे हैं कि फंडिंग, डिजाइन और टेंडर प्रक्रिया अक्टूबर 2024 में पूरा होने के बावजूद, छह महीने तक पुल निर्माण का कार्य क्यों नहीं शुरू हुआ? क्या सरकार वास्तव में मानसून के समय पुल निर्माण करने की योजना बना रही थी.

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