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नागपुर: फर्जी आधार कार्ड पर यूं दिलवाते थे जमानत, पुलिस ने किया रैकेट का भंडाफोड़

कोर्ट से बरी होने के लिए फर्जी बॉन्ड देने वाले गिरोह का नागपुर पुलिस ने भंडाफोड़ किया है. यह गैंग आधार कार्ड पर फोटोशॉप कर अलग-अलग आधार नंबर पर एक ही फोटो पर लगाकर कोर्ट से आरोपी की जमानत लेते थे.

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नागपुर पुलिस की गिरफ्त में आरोपी
नागपुर पुलिस की गिरफ्त में आरोपी
स्टोरी हाइलाइट्स
  • नागपुर क्राइम ब्रांच की टीम ने 2 आरोपियों को किया गिरफ्तार
  • आरोपियों के पास से 250 फर्जी आधार कार्ड बरामद
  • 6 वर्षों से चल रहा था ठगी का ये गोरखधंधा

महाराष्ट्र की नागपुर पुलिस ने एक रैकेट का भंडाफोड़ किया है, जो किसी भी आरोपी को कोर्ट से रिहा कराने के लिए फर्जी आधार कार्ड और अन्य कागजात का इस्तेमाल कर उसे जमानत दिलाता था. पुलिस ने दो आरोपियों के पास से 250 फर्जी आधार कार्ड बरामद किए हैं. 

आम तौर पर किसी भी आरोपी को कोर्ट से जब जमानत मिलती है, तब आरोपी के लिए कोई ऐसा व्यक्ति चाहिए होता है जो उसका बॉन्ड ले. आरोपी दोबारा कोई जुर्म करे तो बॉन्ड देनेवाले को दोषी माना जाता है. ऐसे में आरोपी को आसानी से कोई बॉन्ड नहीं देता है. इसी का फायदा ये लोग उठाते थे. पिछले छह साल से यह गोरखधंधा चल रहा था.

यह गिरोह जमानत के वक्त किसी भी शख्स की रिहाई के लिए फर्जी आधार कार्ड का इस्तेमाल करते थे. आधार नंबर भले ही अलग-अलग होते थे. लेकिन आधार कार्ड पर फोटो एक ही व्यक्ति की होती थी. यह आरोपियों की जमानत के वक्त बॉन्ड के लिए न्यायालय में मौजूद रहता था. इसके बदले में यह गिरोह आरोपी से उसकी हैसियत के मुताबिक रकम वसूल करता था. जिसका कुछ हिस्सा बॉन्ड के लिए न्यायालय में पेश होने वाले व्यक्ति को दिया जाता था. इस तरह कई लोगों की जमानत यह गिरोह करवा चुका है.

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नागपुर के पुलिस कमिश्नर अमितेश कुमार ने बताया कि इस मामले में क्राइम ब्रांच की टीम ने दो आरोपी सुनील सोनकुसरे और सतीश साहू को गिरफ्तार किया है. आरोपियों के पास से 250 फर्जी आधार कार्ड, बॉन्ड सर्टिफिकेट, जाली हाउस टैक्स रसीद, टाटा सुमो कार, जाली सरकारी स्टाम्प, प्रिंटर, लैपटॉप और1000 पासपोर्ट फोटो सहित 6 लाख रुपये का सामान बरामद किया गया है. दो लोग अब भी फरार हैं, जिनकी तलाश जारी है.

 

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