हरियाणा के डीजीपी डॉ. केपी सिंह भले ही अपने बयान के कारण विवादों में घिर गए हों, लेकिन राज्य के कैबिनेट मंत्री ओम प्रकाश धनखड़ ने उनका समर्थन किया है. डीजीपी साहब का कहना है कि अगर कोई अपराधी रेप जैसी वारदात को अंजाम देता है या फिर जबरदस्ती सेक्स करता है तो आम आदमी को भी ऐसे आदमी को जान से मारने का अधिकार है.
डीजीपी के इस बयान का समर्थन करते हुए हरियाणा के कैबिनेट मंत्री धनखड़ ने कहा, 'ज्यादातर लोग कानून की अनुपालना करते हैं और ये चेतावनी उन लोगों के लिए है, जो कानून के बाहर जाते हैं.' कृषि मंत्री ने आगे कहा कि कानून व्यवस्था पुलिस का काम है और वह अपना काम कर रही है.
'मैं लोगों को जागृत करने आया था'
दिलचस्प बात यह है कि बयान के बाद जब डीजीपी साहब से पूछा गया कि अगर लोग खुद हथियार के बल पर इंसाफ करने लगेंगे, तो पुलिस की जरूरत कहां पड़ेगी? जनाब कहते हैं, 'फिर हथियार दिए ही क्यों जाते हैं. आप संविधान की धारा 100 और 103 पढ़िए. मैं लोगों को जागृत करने गया था. आप भी कीजिए.'
धनखड़ के बयानों ने भी बटोरी हैं सुर्खियां
गौरतलब है कि ओपी धनखड़ खुद भी अपने बयानों के कारण सुर्खियों और विवादों में रहे हैं. राज्य में चुनावी समर के बीच उन्होंने कहा था कि अगर हरियाणा में बीजेपी की जीत होती है तो वो सभी कुंवारे लड़कों की शादी बिहार की लड़कियों से करवा देंगे. यही नहीं, एक बार उन्होंने आत्महत्या करने वाले किसानों को कायर भी बताया था.
और क्या कहा था डीजीपी ने
बता दें कि डीजीपी केपी सिंह ने अपने बयान में कहा कि आम आदमी को यह अधिकार संविधान ने दिया है और यह किसी की संपत्ति छीनने पर भी लागू होता है. डीजीपी कहते हैं, 'ऐसे मामलों में कानून अधिकार देता है कि वो मारने की कोशिश करने वाले की जान ले ले.' डीजीपी साहब ने गुरुवार को यह बयान पंचायती राज और पुलिस के लिए आयोजित एक कार्यक्रम में दिया है. इस कार्यक्रम में बड़ी संख्या में ग्रामीण इलाके से लोग आए थे.