लगातार हो रहे अपराधों से देश की राजधानी दिल्ली की हकीकत सामने आने लगी है. आंकड़ों के मुताबिक दिल्ली से हर साल 5,000 बच्चे गायब हो रहे हैं.
इसी साल के आंकड़ो पर गौर किया जाए तो 22 अप्रैल तक जितने भी बच्चे गायब हुए हैं उनमें से 650 का अभी तक पता नहीं चल पाया है. इनमें से 409 लड़कियां हैं. आंकड़े बताते हैं कि पूर्वी दिल्ली से इस साल अब तक 50 लड़कियां गायब हुईं हैं. गांधी नगर की पीड़ित भी पूर्वी दिल्ली की ही रहने वाली है. बाहरी दिल्ली के आंकड़ों के मुताबिक इस साल 69 बच्चे गायब हो चुके हैं.
पुलिस सूत्रों के मुताबिक दिल्ली से जुड़े राज्यों में इन बच्चों को 15 से 20 हजार रुपये में बेच दिया जाता है. फिर दबाव बनाकर उनसे मनमुताबिक काम कराया जाता है. वर्ष 2010 में कुल 5 हजार 91 बच्चे गायब हुए, जिनमें से 3945 ही मिल पाए जबकि 1154 का पता नहीं चला. वहीं वर्ष 2011 के आंकड़े बताते हैं कि 6054 बच्चे लापता हुए. करीब 4823 का पता लगाया जा सका जबकि 1231 का पता नहीं चला.
वर्ष 2012 में बच्चों के गायब होने का सिलसिला लगातार जारी रहा. इस साल 4717 मासूम लापता रहे 2053 का पता लगाया जा सका. इनमें 2374 बच्चे नहीं मिल सके.