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पे-स्केल 20 हजार और खाते में आते हैं 80 हजार! कैसे तय होती है सरकारी बाबूओं की सैलरी?

सरकारी नौकरी में पे स्केल का मतलब होता है किसी कर्मचारी की तय सैलरी की रेंज. यानी न्यूनतम से अधिकतम तक कितनी सैलरी मिल सकती है. यह पे लेवल, ग्रेड पे, 7th पे कमीशन और सैलरी रेंज से मिलकर बनता है.

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सरकारी नौकरी में बेसिक सैलरी के अलावा DA, HRA, TA, मेडिकल, पेंशन और PF/NPS जैसे भत्ते जुड़ते हैं, जिससे कुल इनकम काफी बढ़ जाती है. Photo: Pexels)
सरकारी नौकरी में बेसिक सैलरी के अलावा DA, HRA, TA, मेडिकल, पेंशन और PF/NPS जैसे भत्ते जुड़ते हैं, जिससे कुल इनकम काफी बढ़ जाती है. Photo: Pexels)

सरकारी नौकरी में अक्सर हम सुनते हैं – लेवल-4, लेवल-6, 7th पे कमीशन, 56,100–1,77,500 सैलरी वगैरह…इन्हीं चीजों को मिलाकर पे स्केल (Pay Scale) कहा जाता है.आसान भाषा में कहें तो पे स्केल मतलब किसी सरकारी कर्मचारी की तय सैलरी की रेंज. यानी न्यूनतम कितनी सैलरी मिलेगी और समय के साथ बढ़कर अधिकतम कितनी हो जाएगी. पे स्केल का मतलब होता है आपकी सैलरी कहां से शुरू होगी और अधिकतम कितनी तक जा सकती है. इसमें पे लेवल जितना ऊंचा होता है, आपकी सैलरी भी उतनी ज्यादा मिलती है. सरकारी नौकरी में पे स्केल के साथ कई तरह के भत्ते भी जोड़े जाते हैं, जिससे कुल इनकम काफी बढ़ जाती है.

पे स्केल कैसे तय होता है?
सरकारी कर्मचारियों की सैलरी सरकार सीधा तय नहीं करती. इसके लिए सरकार एक कमेटी बनाती है जिसे Pay Commission कहा जाता है. आजकल सभी सरकारी कर्मचारियों की सैलरी 7th Pay Commission के आधार पर चलती है. 

पे स्केल क्या होता है? पूरा आसान समझें, पे स्केल तय करने में 3 बातें देखी जाती हैं:

1. कर्मचारी का पद (Post / Grade)
जैसे– क्लर्क, टीचर, ऑफिसर, इंजीनियर, आदि.

2. नौकरी की जिम्मेदारी (Responsibility)
जिस काम में जिम्मेदारी ज्यादा होती है, उसका पे स्केल भी ऊंचा होता है.

3. योग्यता और अनुभव (Qualification & Experience)
जिन पदों के लिए अधिक पढ़ाई और अनुभव चाहिए—उनका स्केल ऊंचा रखा जाता है.
पे स्केल को Pay Level या Grade Pay से समझा जाता है।
जैसे—Level 3, Level 6, Level 10, Level 12 आदि।

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किस Pay Scale में कितनी Salary मिलती है? (आसान चार्ट)

नीचे 7th Pay Commission के हिसाब से कुछ सामान्य पे लेवल और उनकी सैलरी दी गई है:

Level 1 (चपरासी, हेल्पर आदि)
सैलरी रेंज: ₹18,000 – ₹56,900

Level 3 (क्लर्क, असिस्टेंट जैसे पद)
सैलरी रेंज: ₹21,700 – ₹69,100

Level 4 (LDC, स्टेनो आदि)
सैलरी रेंज: ₹25,500 – ₹81,100

Level 5 (जूनियर असिस्टेंट, टेक्निकल असिस्टेंट)
सैलरी रेंज: ₹29,200 – ₹92,300

Level 6 (सरकारी शिक्षक, सेक्शन ऑफिसर, इंस्पेक्टर आदि)
सैलरी रेंज: ₹35,400 – ₹1,12,400

Level 7 (सुपरवाइजर, AAO, इंजीनियर/टेक्निकल पद)
सैलरी रेंज: ₹44,900 – ₹1,42,400

Level 8–10 (गज़ेटेड ऑफिसर – इंजीनियर, लेक्चरर, ऑफिसर)
सैलरी रेंज: ₹47,600 – ₹1,77,500

Level 11–12 (सीनियर ऑफिसर, प्रिंसिपल, इंजीनियरिंग सर्विसेज)
सैलरी रेंज: ₹67,700 – ₹2,09,200

Level 13–14 (Joint Secretary, Director जैसे उच्च पद)
सैलरी रेंज: ₹1,23,100 – ₹2,22,000

Level 15 (अतिरिक्त सचिव स्तर)
सैलरी रेंज: ₹1,82,200 – ₹2,24,100

Level 16–17 (सेक्रेटरी – शीर्ष IAS पद)
सैलरी रेंज: ₹2,25,000 – फिक्स्ड

पे स्केल में और क्या-क्या जुड़ता है?
सरकारी कर्मचारी को बेसिक सैलरी के साथ कई भत्ते भी मिलते हैं, जैसे- DA (महंगाई भत्ता) – 50% से ज्यादा हो सकता है.

HRA (मकान किराया भत्ता)
TA (यातायात भत्ता)
Medical Facility
Pension
PF / NPS

इन सबको जोड़कर कुल सैलरी काफी बढ़ जाती है.

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