कश्मीर का 'टिकिंग टाइम बम' वाला डॉक्टर दिल्ली ब्लास्ट के बाद लापता, आतंकी उमर भी साथ कर चुका था काम

फरीदाबाद टेरर मॉड्यूल और लाल किला ब्लास्ट की जांच में अब कश्मीर के विवादित डॉक्टर निसार उल हसन का नाम भी सामने आया है. निसार अल-फलाह यूनिवर्सिटी में प्रोफेसर थे. लाल किला ब्लास्ट का मास्टरमाइंड बताए जा रहा उमर ने एक समय उसके अंडर काम किया था.

Advertisement
सरकारी सेवा से बर्खास्त डॉक्टर निसार पर दोबारा जांच एजेंसियों की नजर (Photo: ITG) सरकारी सेवा से बर्खास्त डॉक्टर निसार पर दोबारा जांच एजेंसियों की नजर (Photo: ITG)

मीर फरीद

  • कश्मीर,
  • 14 नवंबर 2025,
  • अपडेटेड 3:57 PM IST

फरीदाबाद टेरर मॉड्यूल और दिल्ली के लाल किले के पास हुए कार धमाके की जांच में एक नया नाम सामने आया है - डॉ. निसार उल हसन. कश्मीर के इस डॉक्टर को नवंबर 2023 में “राष्ट्रविरोधी गतिविधियों” के आरोप में सरकारी सेवा से बर्खास्त किया गया था. वह श्रीनगर के SMHS अस्पताल में मेडिसिन विभाग के असिस्टेंट प्रोफेसर थे और उन्हें धारा 311(2)(c) के तहत हटाया गया था.

Advertisement

डॉ. निसार सोपोर के आचबल गांव के रहने वाले हैं, जो कभी आतंकी गतिविधियों के लिए जाना जाता था. उन्होंने GMC श्रीनगर से MBBS और SKIMS से MD किया और लंबे समय तक डॉक्टर एसोसिएशन ऑफ कश्मीर (DAK) के अध्यक्ष रहे. अपने करियर में वे कई विवादों से जुड़े रहे - 2013 के स्प्यूरियस ड्रग्स घोटाले पर हड़ताल की अपील, 2014 में कर्मचारियों को टैक्स न देने और चुनाव ड्यूटी का बहिष्कार करने की अपील, “आजादी के संस्थानों को मजबूत” करने वाले बयान. इन सभी के कारण उसे कई बार निलंबित किया गया.

2023 में उसे फिर बर्खास्त किया गया और एलजी मनोज सिन्हा ने उसे “टिकिंग टाइम बम” तक कहा था.

अब वे जांच एजेंसियों के रडार पर इसलिए आए हैं क्योंकि हाल के वर्षों में वे हरियाणा की अल-फलाह यूनिवर्सिटी में जनरल मेडिसिन के प्रोफेसर थे. लाल किला ब्लास्ट का मास्टरमाइंड माने जा रहे डॉ. उमर उन-नबी एक साल तक उनके अंडर जूनियर डॉक्टर था.

Advertisement

यह भी पढ़ें: 'मैंने सिर्फ 1200 महीना किराया लिया...' दिल्ली ब्लास्ट की साजिश वाले मुजम्मिल को कमरे पर रखने वाले मद्रासी की पूरी कहानी

डॉ. निसार की पत्नी डॉ. सुरैया ने बताया कि निसार और उमर के बीच रिश्ते अच्छे नहीं थे. उमर अक्सर गायब रहता था, मरीज नहीं देखता था और क्लास नहीं लेता था. कई बार चेतावनी देने के बाद उसे दूसरे वार्ड में भेजना पड़ा.

उन्होंने यह भी कहा कि निसार “फरार नहीं हैं”, बल्कि NIA द्वारा पूछताछ के लिए हिरासत में हैं, जैसे यूनिवर्सिटी के अन्य कई शिक्षक और छात्र.

अब एजेंसियां यह समझने की कोशिश कर रही हैं कि इस बड़े “व्हाइट-कॉलर जैश मॉड्यूल” से उनका कोई सीधा या अप्रत्यक्ष संबंध था या नहीं. जांच इसी दिशा में आगे बढ़ रही है.

---- समाप्त ----

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement