रसायनिक खाद के इस्तेमाल से मिट्टी की उर्वकता तो कम हो ही रही है. वहीं, इसकी मदद से उगाए जाने वाले आनाजों का सेवन करने से खतरनाक बीमारियों के होने की संभावनाएं भी बढ़ जाती हैं. ऐसे में ज्यादातर किसान अब जैविक खेती की तरफ शिफ्ट हो रहे हैं. इस खेती में इस्तेमाल होने वाले खाद को हम घर पर तैयार कर सकते हैं. इसी कड़ी में राजस्थान में किसानों को वर्मी कंपोस्ट यूनिट बनाने के लिए 50 प्रतिशत की बंपर सब्सिडी दी जा रही है.
वर्मी कंपोस्ट यूनिट के लिए ऐसी जगहों का करें चयन
केंचुआ खाद बनाने के लिए थोड़ी सावधानी बरतनी होगी. केंचुआ पालन यूनिट के स्थापना के लिए ऐसा उपयुक्त स्थान चुनें जहां अंधेरा हो और तापमान की दृष्टि से यह थोड़ा गर्म रहे. इसे गीली और नरम जगह में रखना चाहिए. ध्यान रखें कि जहां केंचुओं का उत्पादन किया जा रहा है उस स्थान पर सूर्य की किरणें सीधी नहीं पड़ें.
वर्मी कंपोस्ट यूनिट बनाने पर बंपर सब्सिडी
30 फीट X 8 फीट X 2.5 फीट आकार के पक्के वर्मी कंपोस्ट यूनिट बनाने के लिए किसानों को अधिकतम 50 प्रतिशत (अधिकतम 50000 रुपये प्रति इकाई) की सब्सिडी दी जा रही है. वहीं वर्मी बेड इकाई (12 फीट X 4 फीट X 2 फीट आकार) बनाने के लिए 50 प्रतिशत (अधिकतम 8000 रुपये प्रति ईकाई) अनुदान दिया जाता है. किसानों के पास इसके लिए 0.4 हेक्टेयर भूमि होना बेहद जरूरी है.
यहां आवेदन करें किसान
इस सब्सिडी को पाने के इच्छुक किसानों को ई-मित्र केंद्र पर जाकर आवेदन करना होगा. इसके लिए किसानों के पास आधार कार्ड / जनाधार कार्ड, जमाबन्दी की नकल (छः माह से अधिक पुरानी न हो) होना चाहिए. वर्मी कंपोस्ट के निर्माण के बाद गठित कमेटी द्वारा उसका सत्यापन किया जाएगा. भौतिक सत्यापन के बाद सब्सिडी वाली राशि को सीधे किसानों के खाते में ट्रांसफर कर दिया जाएगा.