उत्तर प्रदेश के सुल्तानपुर में पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे पर मैरिड कपल के निजी पलों का वीडियो बनाए जाने और फिर ब्लैकमेलिंग के आरोपों ने हड़कंप मचा दिया है. इस कांड के मुख्य आरोपी और ATMS (एंटी ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम) के बर्खास्त मैनेजर आशुतोष सरकार ने पुलिस के सामने कैमरे पर कई बातें बताई हैं. उसका कबूलनामा जितना चौंकाने वाला है, उतना ही पुलिस को मिली शुरुआती जानकारी से मेल भी खाता है, क्योंकि यह सिर्फ एक कपल का वीडियो नहीं था… बल्कि ढाई साल में हजारों कपल्स के निजी पल सीसीटीवी में रिकॉर्ड हो चुके थे.
दरअसल, 25 अक्टूबर को आजमगढ़ से लखनऊ जा रहे एक मैरिड कपल का कार में रोमांस वाला वीडियो एक्सप्रेस-वे के सीसीटीवी फुटेज से रिकॉर्ड होकर वायरल हो गया. 2 दिसंबर को सीएम योगी आदित्यनाथ, सुल्तानपुर डीएम और एसपी को इस संबंध में लिखित शिकायत दी गई, जिसमें ATMS मैनेजर आशुतोष सरकार पर 32 हजार रुपए वसूलने का आरोप लगा. शिकायत में 3 और ऐसी घटनाओं का जिक्र था. वीडियो वायरल होते ही ATMS का काम संभाल रही वेंडर कंपनी SCIPL सतर्क हुई और बैक डेट में आशुतोष को टर्मिनेट कर दिया. पुलिस ने 9 दिसंबर को उसे गिरफ्तार कर एफआईआर दर्ज कर ली.

पुलिस की मौजूदगी में रिकॉर्ड किए गए वीडियो में आशुतोष सरकार ने कहा कि ढाई साल में हजारों कपल्स के प्राइवेट मोमेंट्स सीसीटीवी में रिकॉर्ड हुए, लेकिन उसने खुद कोई वीडियो कभी वायरल नहीं किया.
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वायरल हुआ वीडियो पूर्व कर्मचारी शशांक शेखर ने किसी को दिया था. शशांक ने एक ड्राइवर को फुटेज दिया और उसे भरोसा था कि वह इसे आगे लीक नहीं करेगा. पूर्व कर्मचारियों ने दुश्मनी और नौकरी छूटने की वजह से हम नहीं तो तुम भी नहीं का खेल शुरू किया. आशुतोष ने पुलिस को एक ऑडियो भी सुनाया, जिसमें शशांक खुद कह रहा है कि उसने वीडियो एक ड्राइवर को दिया था.

ब्लैकमेलिंग और नेटवर्क का पूरा खेल
जांच में सामने आया कि दो साल में यह पूरा रैकेट कई स्तरों पर काम कर रहा था. वीडियो रूम में बैठे 3–4 कर्मचारी कपल्स पर नजर रखते थे. संदिग्ध हरकत दिखी तो फुटेज सेव कर लेते थे. शिकायतें आती थीं, लेकिन इन्हें दबा दिया जाता था. कई बार कपल्स को फोन कर पैसे की मांग भी की जाती थी.

SCIPL ने आशुतोष सरकार, सिस्टम टेक्नीशियन अभिषेक तिवारी, ट्रैफिक मैनेजर शशांक शेखर और सिस्टम इंजीनियर प्रमोद कुमार को नौकरी से निकालते हुए केस दर्ज कराया. पुलिस ने इनमें से तीन को गिरफ्तार कर लिया है, जबकि शशांक की तलाश जारी है.
जिन कर्मचारियों को निकाला गया था, वे लगातार आशुतोष पर दबाव बना रहे थे. पूछताछ में आशुतोष ने कहा कि वे कहते थे कि 'आपने हमें नौकरी से निकलवाया, तो हम भी आपको नहीं चलने देंगे.' यही नाराजगी और बदला लेने की मानसिकता वीडियो लीक होने की असली वजह बताई जा रही है.

इस मामले में एसपी कुंवर अनुपम सिंह के निर्देश पर कार्रवाई की गई है. शिकायत के आधार पर केस दर्ज हुआ है, जिसके बाद तीन आरोपी अरेस्ट हुए. कई CCTV फुटेज बरामद हुए हैं. पूरे ATMS सिस्टम के डेटा एक्सेस की जांच जारी है.
पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे पर लगे हैं हाई-रिजॉल्यूशन CCTV कैमरे
पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे पर सुरक्षा और ट्रैफिक मैनेजमेंट के लिए हाई-रिजॉल्यूशन CCTV कैमरे लगाए गए हैं. ये कैमरे नाइटविजन, जूम और नंबर प्लेट रिकग्निशन तकनीक से लैस हैं. अगर कोई कार साइड में रोककर आराम करता है, फोन पर बात करता है तो कैमरे उसे भी रिकॉर्ड कर सकते हैं. एक्सप्रेस-वे पर वीडियो रिकॉर्ड होकर कंट्रोल रूम तक पहुंचते हैं. ऐसा ही एक वीडियो एक शादीशुदा कपल के प्राइवेट मोमेंट का था, जो लीक हो गया.

एक्सप्रेस-वे पर कैमरे दुर्घटनाओं, कानून-व्यवस्था, ट्रैफिक वायलेशन और आपातकालीन स्थितियों के लिए लगे हैं. ये हाई-क्वालिटी क्षमता वाले कैमरे हैं. यदि कोई कार सड़क किनारे लंबी देर तक खड़ी हो, तो कैमरों का ऑटो-फोकस सिस्टम उसे रिकॉर्ड कर सकता है. एक्सप्रेस-वे के कंट्रोल रूम में 24×7 कर्मी तैनात रहते हैं.
कपल्स आखिर हाइवे पर कार क्यों रोकते हैं? इसके कई कारण हो सकते हैं. लंबी यात्रा में आराम, बच्चों को ब्रेक देना, कार की तकनीकी समस्या, फोन कॉल, मीटिंग या फिर प्राइवेसी वाला शांत माहौल. अब एक्सप्रेस-वे पर ‘प्राइवेट वीडियो’ को लेकर एक्शन हुआ है. सुरक्षा के लिए लगाए गए कैमरे में ऐसे मोमेंट रिकॉर्ड हो गए और वीडियो लीक हो गया. इस मामले में कुछ लोगों ने कहा कि सफर करने वालों को भी समझना होगा कि हाइवे कोई निजी कमरा नहीं, यह निगरानी में चलने वाला पब्लिक स्पेस है.