scorecardresearch
 

सोनम वांगचुक को राहत नहीं, 24 नवंबर तक जोधपुर जेल में ही रहेंगे

क्लाइमेट एक्टिविस्ट सोनम वांगचुक की पत्नी गीतांजलि अंग्मो की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 24 नवंबर को सुनवाई करेगा. तब तक वांगचुक जेल में ही रहेंगे. याचिका में वांगचुक की हिरासत को चुनौती दी गई है.

Advertisement
X
सोनम वांगचुक की पत्नी ने हिरासत को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट को रुख किया है. (Photo: Facebook/Sonam Wangchuk)
सोनम वांगचुक की पत्नी ने हिरासत को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट को रुख किया है. (Photo: Facebook/Sonam Wangchuk)

क्लाइमेट एक्टिविस्ट सोनम वांगचुक 24 नवंबर तक जेल में ही रहेंगे. उसके बाद कोर्ट की सुनवाई में तय होगा कि आगे क्या होना है. सोनम वांगचुक की पत्नी गीतांजलि अंग्मो की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस अरविंद कुमार और जस्टिस एनवी अंजारिया की बेंच 24 नवंबर को सुनवाई करेगी. इस बीच केंद्र के साथ लद्दाख प्रशासन और राजस्थान में जोधपुर जेल प्रशासन को जवाब देने के लिए कोर्ट ने मोहलत दी. 

बेंच ने कहा कि हमें आज हलफनामे की कॉपी मिली है. हालांकि, हम नई याचिका पर  सुनवाई करेंगे. गीतांजलि अंग्मो के वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि हमने मंगलवार शाम नई अर्जी दाखिल की है. पीठ ने कहा कि हम संशोधित याचिका को सुनवाई के लिए स्वीकार करते हैं.

याचिका के साथ अतिरिक्त सबूत वाले दस्तावेज लगाने के लिए अंग्मो को एक हफ्ता दिया गया है. इसके बाद दस दिनों में सरकार जवाब देगी, फिर अगले हफ्ते में याचिकाकर्ता का प्रत्युत्तर आएगा. अगली सुनवाई 24 नवंबर को होगी.

वांगचुक की हिरासत को चुनौती...

सोनम वांगचुक की गिरफ्तारी और न्यायिक हिरासत को चुनौती देते हुए उनकी पत्नी और सुप्रीम कोर्ट में याचिकाकर्ता गीतांजलि अंग्मो ने मंगलवार को नया हलफनामा दाखिल किया. हलफनामे में गीतांजलि ने कहा है कि हिरासत के 28 दिन बाद तक वांगचुक और उनके परिवार को गिरफ्तारी के आधार और कारण का ब्यौरा परिवार को अब तक नहीं दिया गया है.

Advertisement

इसके अलावा उन्होंने कहा कि सलाहकार बोर्ड ने स्वीकार किया है कि जिन सिफारिशों के आधार पर हिरासत का आदेश जारी किया गया था, उनका विवरण बोर्ड में सुनवाई से 1 दिन पहले तक नहीं दिया गया था. वकील ने जेल से परिजनों और समर्थकों को लिखे वांगचुक के पत्रों की प्रतियां अब तक उपलब्ध नहीं कराई गई हैं. 

यह भी पढ़ें: 'मैं जहां भी जाती हूं खुफिया एजेंसियों के अधिकारी पीछा करते हैं', सोनम वांगचुक की पत्नी पहुंचीं SC

हलफनामे में आगे कहा गया है कि वांगचुक तक पहुंच न हो पाने की वजह से सलाहकार बोर्ड को अधूरे दस्तावेज जमा करने पड़े हैं. इनके अलावा वांगचुक की हिरासत के दौरान प्रक्रियागत और अनिवार्य सुरक्षा उपायों का उल्लंघन किया गया. सोनम वांगचुक की निरंतर हिरासत के दौरान प्रतिवादी लगातार गंभीर प्रक्रियात्मक चूक कर रहे हैं, इस वजह से अदालत सोनम की हिरासत रद्द कर रिहा कर देने का आदेश जारी करे.

हलफनामे में कहा गया है कि ये खामियां एनएसए, 1980 के तहत सन्निहित संवैधानिक और वैधानिक सुरक्षा उपायों की बुनियाद पर प्रहार करती हैं. इन खामियों को दुरुस्त कर अदालत समुचित आदेश पारित करे.

---- समाप्त ----
Live TV

Advertisement
Advertisement